Fatehpur Tomb Dispute: यूपी के फतेहपुर ज़िले में बीते सोमवार को हिंदू संगठनों के सदस्यों ने एक मकबरे को मंदिर बताकर जमकर बवाल काटा और प्रशासन से परिसर में पूजा करने की परमिशन मांगी। अब इस मामले पर एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने कहा कि बीजेपी ने देश में नफरत का माहौल पैदा कर दिया है। उत्तर प्रदेश में मुसलमानों से जुड़े किसी भी ऐतिहासिक स्थल पर दावा करने की खुली छूट है। यह सब वहां की पुलिस की निगरानी में हो रहा है और पुलिस कुछ नहीं कर रही है। सोचिए अगर ये हमलावर मुसलमान होते तो अब तक उनके साथ क्या हुआ होता।
एआईएमआईएम प्रमुख ने बयान में कहा कि कानून का इस्तेमाल राजनीतिक विचारधारा और धर्म के इशारे पर किया जा रहा है। यह मुसलमानों के खिलाफ नफरत और उन्हें दबाने की कोशिश का एक उदाहरण है। ऐसा लगा जैसे 1992 लौट आया हो। पीटीआई की एक रिपोर्ट के अनुसार, हिंदू संगठनों ने दावा किया कि नवाब अबू समद का मकबरा ‘ठाकुर जी’ के एक प्राचीन मंदिर को तोड़कर बनाया गया था। हिंदू संगठनों के विरोध के बाद, फतेहपुर जिले में स्थित सदियों पुराने ढांचे के आसपास सुरक्षा कड़ी कर दी गई।
हिंदू संगठनों ने काटा बवाल
दरअसल, सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे एक वीडियो में, हिंदू संगठनों के सदस्यों को कथित तौर पर हंगामा करते, ढांचे के कुछ हिस्सों में तोड़फोड़ करते और भगवा झंडे लहराते हुए देखा जा सकता है। भाजपा जिला इकाई के अध्यक्ष मुखलाल पाल ने जिला प्रशासन को खुली चेतावनी दी थी कि वह हिंदू संगठनों के साथ 11 अगस्त को उस जगह पर पूजा करेंगे। उन्होंने दावा किया था कि यह ढांचा सदियों पुराना एक मंदिर है, क्योंकि मकबरे के अंदर एक ‘शिवलिंग’ मौजूद है।
पाल ने दावा किया कि यह स्थल सदियों पहले ‘ठाकुर जी’ का मंदिर था, जिसे बाद में आक्रांताओं ने मकबरे में तब्दील कर दिया था। भाजपा जिला अध्यक्ष द्वारा प्रार्थना और पूजा-अर्चना के आह्वान के बीच, जिला प्रशासन ने परिसर को सील कर दिया, बैरिकेड्स लगा दिए और परिसर में एंट्री पर प्रतिबंध लगा दिया।