Bihar Politics: राजद नेता और पूर्व उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव ने राज्य की स्पेशल इंटेंसिव रिवीजन (SIR) ड्राफ्ट वोटर लिस्ट को लेकर बेहद गंभीर आरोप लगाए है। रविवार को उन्होंने एक प्रेस वार्ता का आयोजन किया। जिसमें उन्होंने दावा किया कि बिहार के डिप्टी सीएम विजय कुमार सिन्हा का नाम दो अलग-अलग जगहों पर ड्राफ्ट मतदाता सूची में दर्ज है और उनके पास दो अलग-अलग ईपिक (EPIC) कार्ड भी हैं। हालांकि, विजय कुमार ने सफाई देते हुए कहा कि उन्होंने 5 अगस्त को पटना से नाम हटवाने के लिए BLO को आवेदन दिया है।
तेजस्वी ने विजय कुमार सिन्हा पर किया प्रहार
इस प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान, नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने उपमुख्यमंत्री विजय कुमार सिन्हा के दोनों वोटर आईडी कार्ड की डिटेल मीडिया के सामने रखी। दोनों ईपिक (EPIC) ईपिक का डिटेल ऑनलाइन चेक करके भी दिखाया, तेजस्वी ने कहा कि ड्राफ्ट वोटर लिस्ट में विजय कुमार सिन्हा का नाम पटना और लखीसराय, दोनों जगहों पर शामिल है। दरसअल, दोनों वोटर आईडी कार्ड पर अलग-अलग ईपिक नंबर और उम्र दर्ज है।
है मोदी जी के खासमखास बिहार के उपमुख्यमंत्री श्री विजय सिन्हा
👉 ये दो अलग-अलग जिलों की दो अलग-अलग विधानसभा क्षेत्रों के दो अलग-अलग जगह के मतदाता हैं। लखीसराय जिले के लखीसराय विधानसभा क्षेत्र से और पटना जिले की बांकीपुर, विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र से।
👉 इनके पास दो दो अलग-अलग… pic.twitter.com/E38JXb9nzO
— Tejashwi Yadav (@yadavtejashwi) August 10, 2025
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विजय सिन्हा ने दी ये सफाई
तेजस्वी यादव के आरोप पर उपमुख्यमंत्री विजय सिन्हा की प्रतिक्रिया सामने आई है। जिसमें उन्होंने एक दस्तावेज पेश किया है। जिसमें 30 अप्रैल 2024 को पटना से नाम हटवाने के लिए ऑनलाइन आवेदन किया गया था। विजय सिन्हा का कहना था कि ये दुरुस्त करने का समय है, चुनाव आयोग ने एक महीने का वक्त दिया है। तेजस्वी यादव संवैधानिक संस्थाओं पर सवाल उठाने वाले लोग हैं, इनको लोकतंत्र पर भरोसा नहीं है। उम्र के अंतर पर विजय कुमार सिन्हा का कहना था कि इसको दुरुस्त करने के लिए मैंने दिया था, मेरी उम्र सर्टिफिकेट के अनुसार है।
SIR को लेकर राजनीति गर्म
दरअसल, आपको जानकारी के लिए बता दें कि, बिहार में बहुत जल्द विधानसभा चुनाव होना है। जिसकी वजह से मतदाता सूची की शुद्धता पर सवाल खड़े हो रहे हैं। विपक्ष का कहना है कि, जब इसी वोटर लिस्ट से लोकसभा चुनाव हुआ तो विधानसभा चुनाव क्यों नहीं हो सकता? इस बीच, अब डिप्टी सीएम का नाम भी दो अलग-अलग जगहों पर होने के दावे से SIR प्रक्रिया की पारदर्शिता पर चर्चा तेज हो गई है। ध्यान देने की बात ये है, कि तेजस्वी यादव खुद भी दो ईपिक कार्ड रखने के आरोपों को लेकर पहले से विवादों में घिरे हुए हैं, ऐसे में इस नए आरोप ने बिहार की सियासत में गरमी बढ़ा दी है।