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Amit Shah: वामपंथी नक्सलियों के समर्थक को बनाया गया उपराष्ट्रपति उम्मीदवार! अमित शाह का कांग्रेस पर तगड़ा वार

Amit shah: देश के उपराष्ट्रपति का चुनाव होना है इस बीच पक्ष-विपक्ष का एकदूसरे पर बयानबाजी शुरू है। इस दौरान, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कांग्रेस पर बड़ा हमला बोला है। अमित शाह ने कहा कि वामपंथी नक्सलियों के समर्थक को उपराष्ट्रपति पद का उम्मीदवार बनाया गया है।

By: Shivani Singh | Last Updated: August 22, 2025 6:09:15 PM IST



Amit shah: देश के उपराष्ट्रपति का चुनाव होना है इस बीच पक्ष-विपक्ष का एकदूसरे पर बयानबाजी शुरू है। इस दौरान, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कांग्रेस पर बड़ा हमला बोला है। अमित शाह ने कहा कि वामपंथी नक्सलियों के समर्थक को उपराष्ट्रपति पद का उम्मीदवार बनाया गया है।

अमित शाह ने कहा कि उपराष्ट्रपति चुनाव को दक्षिण बनाम दक्षिण के नज़रिए से नहीं देखा जाना चाहिए। देश का उपराष्ट्रपति किसी भी राज्य से हो सकता है। मेरे हिसाब से ऐसा सोचना सही नहीं है।

‘केरल में कांग्रेस की जीत की संभावनाएँ खत्म’

अमित शाह कांग्रेस पर हमला बोलते हुए कहा कि गठबंधन के इस कदम से केरल में कांग्रेस की जीत की जो थोड़ी-बहुत संभावनाएँ थीं, वे भी खत्म हो गईं। क्योंकि विपक्ष के उम्मीदवार सुदर्शन रेड्डी वही व्यक्ति हैं जिन्होंने वामपंथी उग्रवाद को बढ़ावा देने के लिए सलवा जुडूम का फ़ैसला सुनाया था और अगर यह फ़ैसला न सुनाया गया होता, तो 2020 तक वामपंथी नक्सलवाद ख़त्म हो गया होता। ये वही सज्जन हैं जिन्होंने विचारधारा से प्रेरित होकर सलवा जुडूम का फ़ैसला सुनाया था।

Amit Shah ने कहा कि केरल नक्सलवाद का दंश झेल रहा है। गृह मंत्री ने कहा, “केरल की जनता निश्चित रूप से देखेगी कि कांग्रेस पार्टी, वामपंथी दलों के दबाव में, एक ऐसे उम्मीदवार को मैदान में उतार रही है जिसने नक्सलवाद का समर्थन किया और सर्वोच्च न्यायालय जैसे पवित्र मंच का इस्तेमाल किया।”

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सुदर्शन रेड्डी का फैसला 

आपको बता दें कि दिसंबर 2011 में, सर्वोच्च न्यायालय के न्यायमूर्ति सुरेंद्र रेड्डी ने एक फैसला सुनाया था जिसमें “माओवादी विद्रोहियों – चाहे उन्हें ‘कोया कमांडो’ कहा जाए, सलवा जुडूम या किसी अन्य नाम से – उनके खिलाफ लड़ाई में आदिवासी युवाओं को विशेष पुलिस अधिकारियों के रूप में इस्तेमाल करना गैरकानूनी और असंवैधानिक है।” साथ ही उन्होंने यह भी आदेश दिया कि उन्हें तुरंत निरस्त्र कर दिया जाए।

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