Barabanki Firecracker Factory Blast News: उत्तर प्रदेश से इस वक्त की बड़ी खबर सामने आ रही है. उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ से सटे बाराबंकी जिले की रामसनेही घाट तहसील के सराय बरई गांव में गुरुवार दोपहर एक पटाखा फैक्ट्री में हुए भीषण विस्फोट से पूरा इलाका दहल गया. दो मजदूरों की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि पांच अन्य गंभीर रूप से घायल हो गए. धमाका इतना तेज था कि इसकी गूंज लगभग दो किलोमीटर दूर तक सुनाई दी और आस-पास के घरों की दीवारों में दरार पड़ गई. हादसे के बाद फैक्ट्री और आसपास के घरों में आग लग गई, जिससे अफरा-तफरी मच गई.
100 मीटर दूर एक खेत में मिला एक शव
जानकारी सामने आ रही है कि यह घटना जिला मुख्यालय से लगभग 60 किलोमीटर दूर टिकैतनगर थाना क्षेत्र स्थित सराय बरई गांव की है. गांव की आबादी से लगभग 500 मीटर दूर एक खेत में स्थित पटाखा फैक्ट्री में पटाखे बनाने और भंडारण का काम चल रहा था. दोपहर लगभग 2:10 बजे मजदूर काम में व्यस्त थे, तभी अचानक एक शक्तिशाली विस्फोट हुआ. प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार विस्फोट इतना तीव्र था कि 2 मजदूरों के चिथड़े उड़ गए. फैक्ट्री से लगभग 100 मीटर दूर एक खेत में एक शव पड़ा मिला, जिसकी आंतें बाहर निकली हुई थीं.
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फैक्टरी में हुए छोटे-छोटे विस्फोट
विस्फोट के तुरंत बाद फैक्ट्री में छोटे-छोटे विस्फोट हुए, जिससे आग फैल गई. आसपास के ग्रामीण दहशत में सड़कों पर भाग गए. सूचना मिलने के तुरंत बाद दमकल की कई गाड़ियां और एक बड़ी पुलिस बल घटनास्थल पर पहुंच गया, लेकिन लगातार हो रहे छोटे-छोटे विस्फोटों के कारण शुरुआत में पुलिस कर्मी वहां नहीं पहुंच पाए. लगभग 30 मिनट बाद पहुंची दमकल की गाड़ियों ने एक घंटे की मशक्कत के बाद आग पर काबू पा लिया. घायलों को पास के एक अस्पताल में भर्ती कराया गया है, जहां उनकी हालत गंभीर बनी हुई है.
जांच जारी
जानकारी सामने आ रही है कि प्रशासन ने इलाके की घेराबंदी कर दी है और एक फोरेंसिक टीम जांच कर रही है. शुरुआती जांच में पता चला है कि फैक्ट्री के पास पटाखा निर्माण और भंडारण का लाइसेंस था, जो 31 मार्च, 2026 तक वैध था. इस मामले में एसडीएम अनुराग सिंह का बयान सामने आया है. जिसमें उन्होंने पूरे घटना पर जानकारी देते हुए बताया कि हमारी टीम ने दिवाली से पहले फैक्ट्री का निरीक्षण किया था और सब कुछ सामान्य था. आग कैसे लगी, इसका पता लगाने के लिए गहन जांच की जाएगी.
आईजी ने क्या कहा?
आईजी अयोध्या प्रवीण कुमार ने कहा कि फ़ैक्ट्री का लाइसेंस 15 किलोग्राम पटाखे रखने का था. यह हादसा जलती हुई बीड़ी या सिगरेट या किसी तकनीकी खराबी के कारण हुआ होगा. फोरेंसिक टीम साक्ष्य एकत्र करके मामले की जांच करेगी. तो वहीं दूसरी तरफ ग्रामीणों ने आरोप लगाया कि फैक्टरी के खिलाफ पहले भी कई शिकायतें दर्ज कराई जा चुकी थीं, लेकिन प्रशासन ने कोई ठोस कार्रवाई नहीं की. इस मामले में एक ग्रामीण का बयान भी सामने आया है. जिसमें कहा गया है कि हमने उन्हें बार-बार सुरक्षा के बारे में चेतावनी दी थी, लेकिन उन्होंने अनसुना कर दिया. आज की यह दुर्घटना इसी का नतीजा है.
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