Tulsi Puja in Kartik Month: हिंदू पंचांग के अनुसार कार्तिक मास 8 अक्टूबर से शुरू हो रहा है जो 6 नवंबर तक चलने वाला है. ये महीना काफी महत्वपूर्ण और पुण्यदायी माना जाता है. धार्मिक मान्यताओं के अनुसार इस महीने में भगवान विष्णु की पूजा की जाती है, जो व्यक्ति ऐसा करता है उस पर श्रीहरि की विशेष कृपा होती है. कार्तिक मास में तुलसी के पास दीपक जलाने का विशेष महत्व होता है. पर कई बार आपके मन में सवाल आता होगा कि आखिरकार ऐसा क्यों किया जाता है. तो आइए विस्तार से जानते हैं इसके पीछे की वजह के बारे में.
कार्तिक मास में तुलसी के पास दीपक क्यों जलाते हैं?
कार्तिक मास में तुलसी के पास दीपक जलाना काफी शुभ माना जाता है. धार्मिक मान्यता के अनुसार, कार्तिक मास में तुलसी के पास दीपक जलाने से घर में सकारात्मक ऊर्जा बनी रहती है, इससे सुख-समृद्धि का वास भी होता है. कार्तिक मास में तुलसी के पास दीपक को जलाने से आपके ऊपर भगवान विष्णु और मां लक्ष्मी की कृपा बनी रहती है. पितृ तृप्त होते हैं और घर में सुख-शांति का वास होता है. कार्तिक मास में रविवार और एकादशी के दिन तुलसी पर जल न चढ़ाएं और न ही तुलसी के पत्ते तोड़ें.
कार्तिक मास में तुलसी पर दीपक कब जलाएं
कार्तिक मास में तुलसी पर दीपक रोजाना शाम को जलाना चाहिए. ये दीपक घी या तिल के तेल में ही जलाना चाहिए. देसी घी का इस्तेमाल ज्यादा शुभ माना जाता है.
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कार्तिक मास में तुलसी पर दीपक जलाने की विधि क्या है?
समय: कार्तिक मास में शाम के समय सूर्यास्त के बाद तुलसी के पास दीपक को जलाना शुभ माना जाता है.
घी या तेल: शुद्ध देसी गाय का घी या तिल के तेल के दीपक का इस्तेमाल करना चाहिए. भूलकर भी सरसों के तेल का इस्तेमाल न करें.
दिशा: तुलसी के पौधे के पास एक मिट्टी, धातु या आटे का दीपक उत्तर-पूर्व दिशा में रखना शुभ माना जाता है.
आरती: दीपक जलाने के बाद तुलसी माता की आरती करें.
जल चढ़ाएं: कार्तिक मास में सुबह-शाम तुलसी के पौधे पर जल जरूर चढ़ाना चाहिए
स्वास्तिक बनाएं: कार्तिक मास में तुलसी के गमले पर स्वास्तिक का चिह्न जरूर बनाना चाहिए.
मंत्र जाप: तुलसी पर दीपक जलाने के बाद आप ‘शुभं करोति कल्याणं, आरोग्यं धन संपदाम्, शत्रु बुद्धि विनाशाय, दीपं ज्योति नमोस्तुते॥’ मंत्र का जाप करें.