Bihar election news: बिहार विधानसभा चुनाव 2025 में NDA ने अब तक कुल 243 सीटों में से 134 उम्मीदवारों की घोषणा कर दी है. इस बीच एक बड़ा राजनीतिक सवाल उठता है. इन पहली लिस्ट में अब तक किसी भी मुसलमान उम्मीदवार को जगह नहीं मिली है.
जदयू की पहली लिस्ट
जनता दल (यूनाइटेड) ने अपनी पहली लिस्ट में 57 उम्मीदवारों का ऐलान किया है. इस लिस्ट में कई दिग्गज नेताओं और मौजूदा मंत्रियों को मौका दिया गया है. मोकामा से कद्दावर नेता अनंत सिंह, सोनबरसा से मंत्री रत्नेश सदा, फुलवारी से श्याम रजक, राजगीर से वर्तमान विधायक कौशल किशोर और हिलसा से कृष्ण मुरारी शरण उर्फ प्रेम मुखिया को उम्मीदवार बनाया गया है.
बीजेपी की पहली लिस्ट
वहीं भाजपा ने अपनी पहली सूची में 71 उम्मीदवारों का एलान किया है. पार्टी ने इसमें वरिष्ठ नेताओं और मौजूदा विधायकों को दोबारा मौका दिया है, साथ ही नए चेहरों को भी शामिल किया गया है. भाजपा ने जातीय और क्षेत्रीय संतुलन को ध्यान में रखते हुए उम्मीदवारों का चयन किया है, ताकि हर समाज का प्रतिनिधित्व सुनिश्चित हो सके.
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ना बीजेपी ना जदयू ने अपनी पहली लिस्ट में मुस्लिमों को दिया मौका
लेकिन NDA की पहली लिस्ट में मुसलमानों की पूरी तरह से अनुपस्थिति ने राजनीतिक गलियारे में हलचल पैदा कर दी है. बिहार में मुसलमान समुदाय चुनावी समीकरणों में हमेशा अहम भूमिका निभाता रहा है. सवाल ये उठता है कि क्या NDA का ये रणनीतिक कदम केवल स्थानीय समीकरण और जातीय संतुलन पर आधारित है, या इसके पीछे कोई बड़ा सियासी प्लान है?
विशेषज्ञों का मानना है कि NDA अगले चरण की लिस्ट में मुसलमान उम्मीदवारों को शामिल कर सकती है, लेकिन अभी तक जारी लिस्ट से ये साफ झलकता है कि पार्टी ने जीत की संभावना और स्थानीय समीकरणों को प्राथमिकता दी है. अब जनता और विपक्ष की निगाहें इस बात पर टिकी हैं कि अगले चरण में किसे मौका मिलता है और क्या NDA अपनी मुस्लिम वोट बैंक रणनीति को सटीक ढंग से आगे बढ़ा पाएगी.