Secrets about Mughal harem: मुगल काल में एक से बढ़कर एक बादशाह हुए जिनके किस्से आज भी सुने और सुनाए जाते हैं. हालांकि, इन सबके बीच एक कॉमन बात है और वो है ‘हरम’. जी हां, हरम एक ऐसी जगह हुआ करती थी जिसे मुगल सल्तनत की नींव कहना गलत नहीं होगा. मुग़ल काल में बादशाह की सबसे पसंदीदा पनाहगाह यही हरम हुए करते थे. जहां बादशाहों की सुख-सुविधा का पूरा ख़याल रखा जाता था. हरम में उनके मनोरंजन के लिए खूबसूरत लड़कियां होती थीं जो उनके मनोरंजन का पूरा ख्याल रखतीं और बादशाह के हर हुक्म की तामील किया करती थीं. हरम से जुड़े ऐसे ही कुछ अनसुने किस्से आज हम आपको सुनाने जा रहे हैं.
अपने साथ लेकर चलते थे हरम
हरम वैसे तो बादशाह की रिहाइश, यानी जहां बादशाह रहा करते थे उनके महल के आसपास ही बनाया जाता था. हरम में बादशाह के अलावा किसी और की एंट्री पर बैन हुआ करता था. इतिहासकारों की मानें तो जब भी बादशाह लंबी यात्राओं पर जाते या युद्ध में शामिल होते तो उन्हें कई-कई दिनों और महीनों की यात्रा करना पड़ती थी. ऐसे में वे अपने साथ अस्थाई हरम लेकर चलते थे. इसमें बादशाह की पसंद की चुनिंदा लड़कियां रखी जाती थीं जो इस दौरान बादशाह का पूरा ध्यान रख सकें.
बादशाह को खुश करने गिफ्ट करते खूबसूरत लड़कियां
इतिहासकार बताते हैं कि कई दरबारी अपने नंबर बढ़ाने के लिए बादशाह को खूबसूरत लड़कियां गिफ्ट किया करते थे. यही नहीं, कई बादशाह भी एक दूसरे से अच्छे संबंध बनाए रखने के लिए हरम के लिए लड़कियां बतौर नजराना भेजा करते थे. वहीं, जब कोई बादशाह युद्ध में जीतता या हार जाता तो सामने वाले के हरम पर उसका कब्जा हो जाया करता था. कुल मिलाकर कहें तो हरम में रहने वाली महिलाओं का खुद का कोई वजूद नहीं होता था. एक बार हरम में आने के बाद उनकी पूरी लाइफ हरम की चार दीवारी के बीच ही कट जाया करती थी. हालांकि, इस बात का जरूर ध्यान रखा जाता था कि हरम में रहने वाली इन महिलाओं और लड़कियों की सुख सुविधा में किसी तरह की कोई कमी ना रहे.