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समुद्र के नीचे बिछी लाखों किलोमीटर लंबी इंटरनेट केबल का कौन है मालिक, भारत में किसके पास है ओनरशिप?

Internet Cable Owner: भारत में इंटरनेट लगभग 95 प्रतिशत इंटरनेशनल डेटा फाइबर ऑप्टिक केबल के जरिए पहुंचता है. लेकिन क्या आपको ये पता है कि इसका मालिक कौन है?

By: Shubahm Srivastava | Published: September 14, 2025 3:02:19 PM IST



Internet Cable Owner: आज के समय में इंटरनेट हमारी रोजमर्रा की जिंदगी में काफी अहम भूमिका निभा रहा है. छोटे बच्चों से लेकर स्कूल-कॉलेज के छात्र और ऑफिस जाने वाले तक, हर कोई इंटरनेट के बिना काम नहीं कर सकता. सोशल मीडिया, वीडियो कॉल, ऑनलाइन शॉपिंग से लेकर ऐसे कई काम हैं जो हम अपनी दिनचर्या में करते हैं. लेकिन क्या आपके मन में कभी ये सवाल आया है कि ये इंटरनेट आता कहां से है? कुछ लोग सोचते हैं कि इंटरनेट आसमान से सैटेलाइट के जरिए आता है, लेकिन ऐसा नहीं है. 

आपको जानकर हैरानी होगी कि दुनिया का 99 फीसदी इंटरनेट समुद्र के नीचे बिछी केबल के जरिए आप तक पहुंचता है. इन्हें ऑप्टिकल फाइबर केबल कहते हैं. इनके जरिए दुनिया के एक हिस्से से दूसरे हिस्से में इंटरनेट डेटा भेजा और प्राप्त किया जाता है. ऐसे में चलिए जानते हैं कि इतनी लंबी केबल का मालिक कौन है और इसका इसका इतिहास क्या है?

ऑप्टिकल फाइबर केबल की शुरूआत

आपको बता दें कि इंटरनेट केबल बिछाने की शुरुआत 1830 के दशक में हुई थी. सबसे पहले अमेरिकी कारोबारी साइरस वेस्टफील्ड ने 1858 में अटलांटिक महासागर के नीचे पहली टेलीग्राफ केबल बिछाई थी. इस कदम ने अमेरिका और ब्रिटेन को जोड़ा. हालांकि, यह केबल ज़्यादा दिन नहीं चली. लेकिन इस कदम ने सब कुछ बदल दिया. इसके बाद साल 1866 में पहली अंडरसी केबल सफलतापूर्वक बिछाई गई. इसके बाद यह सिलसिला पूरी दुनिया में शुरू हुआ और पहले टेलीग्राफ और फिर इंटरनेट केबल समुद्र के नीचे बिछाई जाने लगीं.

भारत में कहां से आती हैं अंडरसी केबल?

आज 14 लाख किलोमीटर लंबी समुद्री केबल बिछी हुई हैं. दुनिया का 99 प्रतिशत इंटरनेट इन्हीं से आता है. भारत में इंटरनेट की बात करें तो लगभग 95 प्रतिशत इंटरनेशनल डेटा फाइबर ऑप्टिक केबल के ज़रिए पहुँचता है. भारत में कुल 17 इंटरनेशनल केबल आती हैं, जो देश के 14 समुद्री स्टेशनों से जुड़ी हैं. ये स्टेशन मुख्य रूप से मुंबई, चेन्नई, कोचीन, तूतीकोरिन, त्रिवेंद्रम में हैं. इन जगहों पर समुद्र के नीचे से केबल आती हैं और फिर वहीं से इंटरनेट देश के अलग-अलग हिस्सों में पहुंचता है.

कौन है इन इंटरनेट केबल का मालिक?

अब सवाल ये उठता है कि पानी के नीचे बिछी इन इंटरनेट केबल का मालिक कौन है? आपको लग रहा होगा कि हर देश की सरकार के पास इनकी ओनरशिप होगी. लेकिन ऐसा नहीं है. बल्कि इनके असली मालिक निजी टेलीकॉम और टेक्नोलॉजी कंपनियां होती हैं. भारत में टाटा कम्युनिकेशंस,  रिलायंस जियो, भारती एयरटेल, सिफी टेक्नोलॉजीज और बीएसएनएल जैसी कंपनियों के पास इनकी ओनरशिप है.  

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