Kim Jong Un Latest News : दुनिया के सबसे क्रूर तानाशाहों में से एक किम जोंग उन को इस समय अपनी जान का खतरा सता रहा है। अब खबर आ रही है कि इसी डर के चलते उत्तर कोरियाई तानाशाह ने अपने मुख्य अंगरक्षक को बदल दिया है। रिपोर्ट्स का दावा है कि जासूसी और अपनी जान को खतरे को देखते हुए किम जोंग उन ने यह कदम उठाया है।
किम जोंग उन अपने तानाशाही रवैये के कारण पूरी दुनिया में मशहूर हैं। इसके अलावा, उत्तर कोरिया अपने पड़ोसी देशों दक्षिण कोरिया, जापान और अमेरिका के साथ तनाव में रहता है। किम आए दिन मिसाइल परीक्षण करके क्षेत्र में तनाव बढ़ा देते हैं।
उत्तर कोरिया न्यूज़ के अनुसार, किम जोंग उन हाल ही में एक साइट निरीक्षण पर पहुँचे थे, जहाँ उनके साथ नए सुरक्षा गार्ड और उनके प्रमुख देखे गए। किम ने यह बदलाव हाल ही में ईरानी कमांडरों की टारगेट किलिंग के तुरंत बाद किया है। हालाँकि, उत्तर कोरिया ने आधिकारिक तौर पर इस बारे में कुछ नहीं कहा है।
किम के भरोसेमंद को सौंपी गई सुरक्षा की जिम्मेदारी
आपको बता दें कि रिपोर्ट्स में फिलहाल किम के मुख्य अंगरक्षक के नाम का खुलासा नहीं किया गया है। लेकिन यह जानकारी जरूर दी गई है कि सेना के एक वरिष्ठ अधिकारी को यह जिम्मेदारी दी गई है। इसके अलावा यह भी बताया गया है कि यह अधिकारी इससे पहले सिंगापुर, वियतनाम और रूस में काम कर चुका है। अंगरक्षक को किम जोंग उन का विश्वासपात्र माना जाता है।
रिपोर्ट के मुताबिक, उत्तर कोरिया या बाहर के लोगों को इस अंगरक्षक के बारे में ज्यादा जानकारी नहीं है। नया मुख्य अंगरक्षक पहले से ही पर्दे के पीछे से किम के लिए काम कर रहा था। वहीं, किम ने अपने पुराने मुख्य अंगरक्षक किम चोल ग्यू को राज्य मामलों के आयोग के गार्ड विभाग में तैनात किया है।
ये खूंखार कमांडो करते हैं किम जोंग उन की सुरक्षा
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, उत्तर कोरियाई तानाशाह की सुरक्षा की ज़िम्मेदारी एडजुटेंट्स नाम के एक सुरक्षा बल के पास है। इसमें लगभग 200-300 सैनिक होते हैं। ये अलग-अलग समय पर अपने नेता की सुरक्षा में लगे रहते हैं। किम जोंग की सुरक्षा व्यवस्था तीन लेयर में है। पहली लेयर में किम के पास लगभग 12 सैनिक तैनात रहते हैं। इसके अलावा, इन्हीं 12 सैनिकों को किम के पास हथियार लाने की इजाज़त है। बीबीसी की एक रिपोर्ट के मुताबिक, किम के सुरक्षा दस्ते में शामिल होने के लिए कई सख्त नियम बनाए गए हैं।
जिनमें से पहली शर्त यह है कि सभी अंगरक्षकों की लंबाई सुप्रीम लीडर के बराबर होनी चाहिए, ताकि कोई भी ख़ास तौर पर किम को निशाना न बना सके। इसके अलावा, किम की सुरक्षा में लगे सभी सैनिकों की कम से कम दो पीढ़ियाँ सरकार के प्रति वफ़ादार रही हैं। किम अपने साथ सिर्फ़ उन्हीं लोगों को रखते हैं जिनके परिवार वफ़ादारों की सूची में शामिल रहे हैं।