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Violence Against Hindus In Bangladesh: भारत के पड़ोसी देश बांग्लादेश की सत्ता में मोहम्मद यूनुस के आने के बाद से वहां पर इस्लामिक कट्टरता काफी ज्यादा बढ़ गई है। इसकी वजह से वहां पर लगातार अल्पसंख्यकों खासकर के हिंदूओं को निशाना बनाया जा रहा है। इसी को देखते हुए ब्रिटेन के कई प्रमुख राजनेता, पूर्व और वर्तमान सांसद, मानवाधिकार कार्यकर्ता और विभिन्न धार्मिक समुदायों के सदस्यों ने प्रधानमंत्री कीर स्टार्मर की सरकार से आग्रह किया है कि वह बांग्लादेश में मोहम्मद यूनुस के नेतृत्व वाली अंतरिम सरकार के खिलाफ सख्त कदम उठाए।
भारत सरकार की तरह उन सबका भी यही मानना है कि बांग्लादेश की मोहम्मद यूनुस सरकार देश में धार्मिक अल्पसंख्यकों की सुरक्षा और भलाई सुनिश्चित करने में नाकाम रही है।
मोहम्मद यूनुस के आने के बाद बढ़ी हिंदुओं के खिलाफ हिंसा
कंजर्वेटिव फ्रेंड्स ऑफ बांग्लादेश (सीएफओबी) द्वारा आयोजित एक सेमिनार में इस बात पर प्रकाश डाला गया कि जब शेख हसीना की लोकतांत्रिक रूप से निर्वाचित अवामी लीग सरकार को हटाने के बाद यूनुस ने अंतरिम सरकार के मुख्य सलाहकार के रूप में पदभार संभाला था, तब (5 अगस्त से 20 सितंबर, 2024 के बीच) हिंदुओं के खिलाफ 2,010 हिंसक घटनाएं हुई थीं ।
इसके अलावा हिंदुओं के खिलाफ 21 सितंबर से 31 दिसंबर 2024 के बीच 174 और 1 जनवरी से 30 जून 2025 के बीच 258 हिंसा की घटनाएं दर्ज की गईं। इन सब घटनाओं के वक्त बांग्लादेश में पुलिस और सेना मूकदर्शक बनी रही।
यह सुनिश्चित करने के लिए कि लोगों की आवाज बाहर तक न पहुंचे, पिछले 11 महीनों में मोहम्मद यूनुस की ‘गैर-जिम्मेदार, अपारदर्शी, अनिर्वाचित सरकार’ ने 168 पत्रकारों का पंजीकरण रद्द कर दिया है और 43 पत्रकारों को जेल में डाल दिया है।
हिंदू दहशत में जी रहे, नहीं पता कि कल क्या होगा
ब्रिटेन में यूनाइटेड हिंदू अलायंस के हराधन भौमिक ने कहा कि हिंदू डर के साये में जी रहे हैं। वे घर पर चैन से सो नहीं पा रहे हैं, क्योंकि उन्हें नहीं पता कि कल क्या होगा। उन्होंने बताया कि 26 जून को मुरादनगर के कुमिला में एक स्थानीय नेता ने एक हिंदू महिला के साथ बलात्कार किया और उसके नग्न शरीर के वीडियो सोशल मीडिया पर दुनिया भर में प्रसारित किए गए।
इस सेमिनार में बांग्लादेश में बढ़ते कट्टरपंथ पर चिंता व्यक्त की गई। इसके अलावा, मलेशिया में 36 बांग्लादेशी चरमपंथियों की गिरफ़्तारी और ढाका में हरकत-उल-जिहाद-अल-इस्लामी (हूजी) के गुर्गों की गतिविधियों का भी ज़िक्र किया गया।