Russia Ukraine War Latest News: रूस-यूक्रेन युद्ध शुरू हुए तीन साल हो चुके हैं। यूक्रेन को अंदर से खोखला करने के लिए रूस की खुफिया एजेंसी अब आतंकी संगठन ISIS के फॉर्मूले पर काम कर रही है। ऐसा दावा हम नहीं कर रहे, बल्कि खुद यूक्रेन रूस को लेकर ऐसे दावे कर रहा है। द गार्जियन की रिपोर्ट के मुताबिक, यूक्रेनी अधिकारियों का कहना है कि रूस की खुफिया एजेंसी यूक्रेन के गरीब बच्चों को आत्मघाती हमलावर बनाने की योजना पर काम कर रही है। इन बच्चों का इस्तेमाल यूक्रेन के ही खिलाफ मानव बम के तौर पर किया जा रहा है।
जंग के लिए यूक्रेनी नागरिकों की भर्ती कर रहा रूस
रिपोर्ट में कहा गया है कि यूक्रेन का मानना है कि रूस की खुफिया एजेंसी युद्ध के दौरान बम विस्फोट करने के लिए बच्चों और युवा वयस्कों समेत यूक्रेनी नागरिकों की भर्ती कर रही है। यूक्रेन की सुरक्षा सेवा (एसबीयू) के मुताबिक, ये हमले यूक्रेनी समाज के भीतर अस्थिरता पैदा करने की रूसी खुफिया एजेंसी की रणनीति का हिस्सा हैं। ऐसा इसलिए किया जा रहा है, क्योंकि इससे रूस को कम से कम नुकसान हो। वे खुद फ्रंटलाइन से दूर रहते हैं। अगर ऐसा हुआ, तो यूक्रेन सीधे तौर पर रूस को दोषी नहीं ठहरा पाएगा, क्योंकि हमलावर खुद यूक्रेन का नागरिक होगा।
अनजाने में करवाया जा रहा ये काम
द गार्जियन की रिपोर्ट में एसबीयू द्वारा कई मामलों का ब्योरा दिया गया है। बताया गया कि यूक्रेन के लोगों को झूठे बहाने से विस्फोटक उपकरण ले जाने के लिए कहा जा रहा है। मरने वाले व्यक्ति को खुद नहीं पता होता कि वह जो चीज ले जा रहा है, वह विस्फोटक है। वे अनजाने में आत्मघाती हमलावर की तरह काम कर रहे हैं। बताया गया कि रूस टेलीग्राम ऐप के जरिए ऐसे लोगों की भर्ती कर रहा है। इस प्लेटफॉर्म पर यूक्रेन के लोग पैसे पाने के लालच में रूसी खुफिया एजेंसी के झांसे में आ रहे हैं।
यूक्रेन को अंदर से नुकसान पहुंचा रहा रूस
एसबीयू के प्रवक्ता आर्टेम डेख्तियारेंको ने कहा कि यूक्रेन को अंदर से नुकसान पहुंचाने का यह रूसी अभियान 2023 की शुरुआत में शुरू हुआ था। शुरुआत में इसमें सैन्य वाहनों, डाकघरों और भर्ती केंद्रों को जलाने जैसी छोटी घटनाएं शामिल थीं। ये हमले बड़े पैमाने पर यूक्रेन के पश्चिमी क्षेत्रों में केंद्रित थे। युद्ध के मैदान से दूर के इलाकों में इनका मकसद भ्रम फैलाना और यूक्रेन में आंतरिक कलह को बढ़ाना है। डेख्तियारेंको ने द गार्जियन को बताया, “उन्होंने बम लगाने के लिए यूक्रेन के लोगों की बड़े पैमाने पर भर्ती शुरू की।”