Cancer Data In India: केरल में कैंसर का संकट तेजी से गहराता जा रहा है। हाल ही में आयोजित केरल कैंसर कॉन्क्लेव 2025 में पेश एक रिपोर्ट में यह खुलासा हुआ कि राज्य में हर साल औसतन 88,460 नए कैंसर केस सामने आ रहे हैं। इनमें 43,110 पुरुष और 45,350 महिलाएं शामिल हैं। यह आंकड़ा पूरे देश के कुल कैंसर मामलों का लगभग 5.7% है। रिपोर्ट के अनुसार, 2030 तक ये आंकड़े और भी भयावह हो सकते हैं। पुरुषों में अनुमानित 43,930 और महिलाओं में 45,813 नए केस सामने आ सकते हैं। यह आंकड़ा साफ इशारा करता है कि केरल में कैंसर की रफ्तार बाकी राज्यों की तुलना में कहीं अधिक है।
ये कैंसर बढ़ा रहे मौत का खतरा
TOI की रिपोर्ट के अनुसार, बेंगलुरु स्थित ICMR-NCDIR के निदेशक प्रोफेसर प्रशांत माथुर द्वारा प्रस्तुत रिपोर्ट में बताया गया कि पुरुषों में सबसे ज्यादा लंग कैंसर (14%), मुंह और आंत का कैंसर (10-10%), प्रोस्टेट (9%) और लिवर कैंसर (8%) हो रहा है। वहीं, महिलाओं में ब्रेस्ट कैंसर का प्रतिशत सबसे ज्यादा है, जो कि 34% तक पहुंच चुका है। इसके बाद थायरॉइड (11%), आंत (9%), यूटेरस (6%) और ओवरी कैंसर (4%) के मामले तेजी से बढ़े हैं। सबसे अधिक मौतें भी इन्हीं कैंसर से हो रही हैं। 2024 में केरल में पुरुषों की कैंसर से मौत में लंग कैंसर का योगदान 28.9%, लिवर कैंसर 18.9%, प्रोस्टेट 11.2% रहा। महिलाओं में स्तन कैंसर से 37.5%, लंग कैंसर 8.3%, ओवरी कैंसर 6.6% और थायरॉइड कैंसर से 6.1% मौतें हुईं।
केरल में सबसे ज्यादा बढ़ रहा कैंसर
केरल में लंग और ब्रेस्ट कैंसर से होने वाली मृत्यु दर राष्ट्रीय औसत से काफी ज्यादा है। जहां भारत में पुरुषों में लंग कैंसर से मृत्यु दर 7.8% है, वहीं केरल में यह 28.9% है। महिलाओं में ब्रेस्ट कैंसर से राष्ट्रीय औसत मृत्यु दर 14.9% है, जबकि केरल में यह 37.5% तक पहुंच चुकी है। विशेषज्ञों के अनुसार, लंग, लिवर और प्रोस्टेट कैंसर पुरुषों में तो वहीं, ब्रेस्ट और थायरॉइड कैंसर महिलाओं में तेजी से बढ़ रहे हैं। लिवर कैंसर दोनों जेंडर में पिछले दो दशकों से लगातार बढ़ रहा है, जो चिंता का बड़ा कारण बन गया है।