Navratri 2025: हर व्यक्ति के जीवन में विवाह का महत्व बहुत खास होता है. यह केवल दो लोगों का मिलन नहीं है, बल्कि दो परिवारों और संस्कृतियों का संगम भी है. लेकिन कई बार ग्रहों की दशा, कुंडली या अन्य कारणों से विवाह में देरी या बाधाएं आ सकती हैं. ज्योतिष और धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, ऐसी समस्याओं को दूर करने के लिए कुछ विशेष दिन और उपाय बेहद प्रभावी माने जाते हैं. इस साल 28 सितंबर का दिन ऐसा ही शुभ अवसर है, जब मां कात्यायनी की पूजा करके शीघ्र विवाह के योग बनाए जा सकते हैं.
विवाह की देवी: मां कात्यायनी
हिंदू धर्म में मां कात्यायनी को देवी दुर्गा के छठे स्वरूप के रूप में पूजा जाता है और उन्हें विवाह की देवी माना जाता है. धार्मिक कथाओं के अनुसार, भगवान श्रीकृष्ण को पति के रूप में पाने के लिए गोपियों ने मां कात्यायनी की पूजा की थी. इसलिए, जो व्यक्ति सच्चे मन से उनकी आराधना करता है, उसके विवाह संबंधी सभी अड़चनें दूर हो जाती हैं. मां कात्यायनी की पूजा से न केवल विवाह के योग बनते हैं, बल्कि सुखी और सफल वैवाहिक जीवन का आशीर्वाद भी मिलता है.
28 सितंबर को करने योग्य खास उपाय
अगर आपके विवाह में किसी प्रकार की बाधा है, तो आप इस दिन निम्नलिखित सरल लेकिन प्रभावी उपाय कर सकते हैं:
स्नान और तैयारी: सुबह जल्दी उठें, स्वच्छता बनाएँ और साफ वस्त्र पहनें. विशेष रूप से पीले या लाल रंग के वस्त्र शुभ माने जाते हैं. अपने पूजा स्थल को अच्छी तरह से साफ करें.
मां कात्यायनी की स्थापना: पूजा स्थल पर मां कात्यायनी की मूर्ति या तस्वीर रखें. उन्हें पीले फूल, हल्दी, केसर और पीली चूड़ियां अर्पित करें. पीला रंग शुभता और सौभाग्य का प्रतीक माना जाता है.
पूजा और मंत्र जाप: शुद्ध घी का दीपक जलाएं और धूप-दीप से आरती करें. इसके बाद विवाह में आ रही बाधाओं को दूर करने के लिए निम्न मंत्र कम से कम 108 बार जप करें:
ॐ ऐं ह्रीं क्लीं चामुण्डायै विच्चे नमः॥
ॐ देवी कात्यायन्यै नमः॥
कन्याओं को भोजन: पूजा समाप्त होने के बाद छोटी कन्याओं को खीर या हलवा खिलाएं और उन्हें श्रद्धा अनुसार उपहार दें. ऐसा करने से मां कात्यायनी अत्यंत प्रसन्न होती हैं.
सिंदूर और सुपारी: मां दुर्गा को सात लाल या पीले फूल चढ़ाएं. इसके साथ, एक पीले कपड़े में थोड़ा सिंदूर और कुछ सुपारी बाँधकर देवी को अर्पित करना भी शुभ माना जाता है.