China Taiwan Conflict: ताइवान चीन के खिलाफ बड़े युद्ध की तैयारी कर रहा है। इस समय ताइवान में चीन के खिलाफ सबसे बड़ा युद्धाभ्यास चल रहा है। जिसमें 22 हज़ार से ज़्यादा रिज़र्व सैनिकों को शामिल किया गया है। इतना ही नहीं,इस अभ्यास में विनाशकारी मिसाइलों का परीक्षण भी किया जा रहा है। इस अभ्यास ने तिलमिलाए चीन ने अपनी ताकत दिखाते हुए को प्रशांत द्वीप समूह में अपनी उपस्थिति बढ़ा दी है।
ताइवान की चीन को लेकर तैयारी
ताइवान द्वारा किए जा रहे अभ्यासों में साइबर हमले, मिसाइल हमलों की तैयारी, ज़मीनी लड़ाई आदि शामिल हैं। इन अभ्यासों में हज़ारों सैनिकों के साथ टैंक, तोपखाने, मिसाइलों का अभ्यास किया जा रहा है। खास बात यह है कि इस अभ्यास में देश की आम जनता को भी शामिल किया गया है, ताकि किसी भी आपातकालीन स्थिति से निपटा जा सके।
ड्रैगन ने बढ़ाया फाइटर जेट्स का प्रोडक्शन
ताइवान की तैयारियों को देखते हुए चीन ने भी अपनी तैयारियाँ तेज़ कर दी हैं। खबरों के मुताबिक, बीजिंग ने पाँचवीं पीढ़ी के विमानों का उत्पादन बढ़ा दिया है। इसके बाद से, J-35 विमानों का बड़े पैमाने पर निर्माण किया जा रहा है। इसके लिए चीन ने लड़ाकू विमान बनाने के लिए कई मेगा कारखाने खोले हैं।
इससे यह अनुमान लगाया जा रहा है कि वह ताइवान पर कब्ज़ा करने की तैयारी कर रहा है। आपको बता दें कि चीन के J-35 विमानों को ख़ास तौर पर सर्जिकल स्ट्राइक के लिए डिज़ाइन किया गया है और ये ताइवान के ख़िलाफ़ युद्ध में घातक साबित हो सकते हैं।
अमेरिका करेगा ताइवान की मदद!
चीन की बढ़ती आक्रामकता को देखते हुए अमेरिका ने भी कमर कस ली है। हालाँकि अमेरिका पहले से ही ताइवान की मदद करता रहा है। लेकिन अब उसे युद्ध के संकेत भांप रहे हैं और उसने तैयारी शुरू कर दी है। हाल ही में, पेंटागन ने क्षेत्र में अपने सहयोगियों, जापान और ऑस्ट्रेलिया से युद्ध की स्थिति में उनकी भूमिका के बारे में स्पष्टता मांगी है। साथ ही, उसने सहयोगियों से क्षेत्र में अपने सैनिक तैनात करने का भी आग्रह किया है।

