Green Field Expressway: उत्तर प्रदेश की जनता को जलेद ही एक बड़ा तोहफा मिलने जा रहा है, जहां यूपी सरकार बरेली, गोरखपुर और शामली को जोड़ने के लिए एक छह लेन का ग्रीनफील्ड एक्सप्रेसवे को तेज़ी से तैयार में करने में लगातार जुटी हुई है. यह एक्सप्रेसवे न सिर्फ पश्चिमी उत्तर प्रदेश को पूर्वांचल से जोड़ेगा, बल्कि फ्रदेश के आर्थिक रूप को भी पूरी तरह से बदल देगा.
क्या है परियोजना की मुख्य विशेषताएं?
लंबाई और विस्तार
जानकारी के मुताबिक, यह एक्सप्रेसवे लगभग 700 किलोमीटर लंबा होगा. इसके साथ ही यह शामली से शुरू होकर बरेली होते हुए गोरखपुर तक जाएगा.
ग्रीनफील्ड प्रोजेक्ट
क्योंकि, यह एक ‘ग्रीनफील्ड’ परियोजना है, इसका सीधा मतलब है कि यह पूरी तरह से नए रूट पर बनाया जाएगा, जिससे यात्रा की दूरी और समय में भारी कमी देखने को मिलेगी.
आर्थिक गलियारा
इस मार्ग के किनारे औद्योगिक क्लस्टर विकसित किए जाएंगे, जिससे स्थानीय व्यापार के साथ-साथ लोगों को रोज़गार के नए अवसर मिलेंगे. तो वहीं, यह एक्सप्रेसवे कृषि उत्पादों और औघोगिक माल को एक शहर से लेकर दूसरे शहर तक तेज़ी से पहुंचाने में भी बेहद ही मददगार साबित होगा.
क्षेत्रीय विकास पर प्रभाव
इस एक्सप्रेसवे के बनने से बरेली एक प्रमुख ट्रांजिट हब के रूप में उभरकर बाहर निकलेगा. तो वहीं, दूसरी तरफ शामली के माध्यम से हरियाणा और पंजाब से आने वाला ट्रैफिक सीधे गोरखपुर और बिहार की सीमा तक बेहद ही आसानी से पहुंच सकेगा. इसके अलावा, यह एक्सप्रेसवे दिल्ली-देहरादून एक्सप्रेसवे और गंगा एक्सप्रेसवे जैसे अन्य प्रमुख मार्गों के साथ इंटरकनेक्टिविटी को भी प्रदान करने में सहायता करेगा.
हालाँकि यात्रियों के लिए, जो सफर वर्तमान में 12 से 15 घंटे लेता है, वह इस एक्सप्रेसवे के पूरा होने के बाद लगभग कम हो जाएगा. उत्तर प्रदेश में बरेली, गोरखपुर और शामली को जोड़ने के लिए एक छह लेन के ग्रीनफील्ड एक्सप्रेसवे का निर्माण तेज़ी से किया जा रहा है. यह विशाल बुनियादी ढांचा परियोजना पश्चिमी यूपी और पूर्वी यूपी के बीच की दूरी को पूरी तरह से कम कर देगा. इससे न केवल यात्रा समय में बचत होगी, बल्कि औद्योगिक विकास, रोजगार और बेहतर लॉजिस्टिक्स कनेक्टिविटी को भी तेज़ी से बढ़ावा मिलेगा.

