Tejashwi Yadav Bihar Politics: राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) की बंपर जीत के बाद बिहार में नई सरकार के गठन की तैयारी तेज हो गई है. इसके साथ ही अब यह भी तय हो गया है कि आगामी गुरुवार (20 नवंबर, 2025) को नीतीश कुमार (Nitish Kumar) बतौर सीएम 10वीं बार शपथ लेंगे. उधर, बिहार विधानसभा चुनाव 2025 (Bihar Assembly Election 2025) में मिली करारी हार को लेकर राष्ट्रीय जनता दल (RJD) ने सोमवार को बैठक कर समीक्षा की. इस अहम बैठक में हारे और जीते, दोनों ही प्रत्याशी शामिल हुए. बिहार चुनाव में 143 सीटों पर लड़ने वाली RJD को सिर्फ 25 सीटों पर जीत के साथ संतोष करना पड़ा. उधर, बिहार चुनाव में RJD को मिली करारी हार के कारणों को समझने के लिए पार्टी की समीक्षा बैठक में तेजस्वी यादव को विधायक दल का नेता चुन लिया गया.
तेजस्वी यादव के साथ आए लालू प्रसाद यादव
समीक्षा बैठक में लालू यादव ने बेटे तेजस्वी यादव का साथ दिया. यह जानकारी बैठक में शामिल नेताओं ने दी. तेजस्वी यादव ने बहुत मेहनत की है. तेजस्वी ही पार्टी को और आगे लेकर जाएंगे. बैठक में लालू यादव और राबड़ी देवी के अलावा मीसा भारती, जगदानंद सिंह, मंगनीराम मंडल सहित अन्य नेता मौजूद थे. बैठक में शामिल नेताओं के मुताबिक, लालू ने कहा कि तेजस्वी ने चुनाव के लिए बहुत मेहनत की है. वही राष्ट्रीय जनता दल को आगे ले जाएंगे.
RJD और लालू यादव के परिवार में मचा है बवाल
यहां पर बता दें कि बिहार विधानसभा चुनाव 2025 में राष्ट्रीय जनता दल और कांग्रेस को बुरी तरह हाल मिली. कांग्रेस में जहां शांति है तो वहीं RJD में भूकंप आ गया है. खासतौर से लालू यादव के परिवार में बवाल मचा हुआ है. लालू के बड़े बेटे तेज प्रताप यादव जहां पहले से ही परिवार और पार्टी से बाहर हैं तो तेजस्वी यादव पर हार के बाद बहन रोहिणी ने गंभीर आरोप लगाए हैं. RJD की समीक्षा बैठक से बाहर निकले RJD सांसद अभय कुशवाहा, पूर्व मंत्री इसराइल मंसूरी और पूर्व एज्या यादव ने बताया कि लालू ने कमान तेजस्वी यादव को सौंप दी है.
RJD को चुनाव में मिलीं सिर्फ 25 सीटें
यहां पर बता दें कि बिहार चुनाव में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) को बंपर जीत मिली है. BJP को 89 जबकि JDU को 85 और लोकजनशक्ति पार्टी को 19 सीटों पर विजय हासिल हुई. वहीं, इस बार के चुनाव में RJD को मात्र 25 सीटें मिली हैं. बिहार में विपक्ष का नेता बनने के लिए कम से कम 24 सीटों पर जीत की जरूरत होती है. ऐसे में तेजस्वी यादव का यह पद मिल सकता है. विपक्ष के नेता को मंत्री के समान सुविधाएं मिलती हैं.

