Bihar Chunav: आगामी बिहार विधानसभा चुनाव से पहले, महागठबंधन ने तेजस्वी यादव को अपना मुख्यमंत्री पद का उम्मीदवार और विकासशील इंसान पार्टी (वीआईपी) प्रमुख मुकेश सहनी को उपमुख्यमंत्री पद का उम्मीदवार घोषित किया है. इस घोषणा के बाद, ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (एआईएमआईएम) ने बड़ा हमला बोला है.
अब्दुल तू चुप बैठ वरना…
पार्टी के उत्तर प्रदेश अध्यक्ष शौकत अली ने सोशल मीडिया पर लिखा, “2% वाला उपमुख्यमंत्री, 13% वाला मुख्यमंत्री, 18% वाला दरी बिछावन मन्त्री, जब हम कुछ कहेंगे तो बोलेंगे अब्दुल तू चुप बैठ वरना बीजेपी आ जायेगी.” यह टिप्पणी बिहार में उपमुख्यमंत्री पद के लिए मुस्लिम समुदाय (जनसंख्या का लगभग 17.7%) की उपेक्षा पर प्रतिक्रिया स्वरूप की गई थी.
शौकत अली ने व्यंग्यात्मक लहजे में कहा कि बिहार में, जहां मुस्लिम मतदाता 47 विधानसभा सीटों पर निर्णायक भूमिका निभा सकते हैं, उन्हें सत्ता में हिस्सेदारी से वंचित किया जा रहा है. उन्होंने आरोप लगाया कि जब मुस्लिम समुदाय अपने हिस्से की बात करता है, तो भाजपा के डर से उसे चुप करा दिया जाता है.
महागठबंधन में कितने उपमुख्यमंत्री होंगे, स्पष्ट नहीं
गौरतलब है कि महागठबंधन ने पटना के होटल मौर्या में आयोजित एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में तेजस्वी यादव के नाम की घोषणा की. वरिष्ठ कांग्रेस नेता अशोक गहलोत ने यह घोषणा की और कहा कि सहनी के अलावा, समाज के अन्य वर्गों से भी उपमुख्यमंत्री नियुक्त किए जाएंगे, हालांकि यह स्पष्ट नहीं है कि कितने उपमुख्यमंत्री होंगे.
मुकेश सहनी और निषाद जाति का कनेक्शन
“मल्लाह के बेटे” के रूप में मशहूर मुकेश सहनी निषाद जाति से आते हैं, जो बिहार में अत्यंत पिछड़ा वर्ग (ईबीसी) श्रेणी में आती है. गहलोत ने तेजस्वी की प्रशंसा करते हुए उन्हें एक युवा, ईमानदार और प्रतिबद्ध नेता बताया, जिन्होंने रोजगार के वादों को पूरा किया है. उन्होंने कहा कि लोकतंत्र आज केवल दिखावा बनकर रह गया है और बिहार की जनता बदलाव चाहती है.
गहलोत ने यह भी कहा कि राहुल गांधी और प्रियंका गांधी भी आगामी चुनाव प्रचार के दौरान बिहार का दौरा करेंगे. उन्होंने सत्तारूढ़ एनडीए को यह स्पष्ट करने की चुनौती भी दी कि उनके गठबंधन का मुख्यमंत्री पद का चेहरा कौन होगा.

