US Bounty On Nicolas Maduro: अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप पूरी तरह से तानाशाही पर उतर आए हैं। हालात ये हैं कि ट्रंप ने अब एक देश के राष्ट्रपति पर इनाम रख दिया है। हम यहां वेनेजुएला के राष्ट्रपति निकोलस मादुरो की बात कर रहे हैं। अमेरिकी राष्ट्रपति ने मादुरो को पकड़ने के लिए 50 मिलियन डॉलर यानी करीब 4,37,44,68,500 रुपये का इनाम रखा है।
अगर इस रकम को मोटे तौर पर समझें तो ये 400 करोड़ से भी ज़्यादा है। आपको बता दें कि ट्रंप और निकोलस मादुरो के बीच रिश्ते अच्छे नहीं हैं। ट्रंप प्रशासन ने मादुरो को दुनिया के सबसे बड़े ड्रग तस्करों में से एक बताया है।
अमेरिकी सरकार ने उन पर ड्रग माफियाओं के साथ मिलकर अमेरिका में फेंटेनाइल मिश्रित कोकीन भेजने का आरोप लगाया है, जिससे लोगों की ज़िंदगी बर्बाद हो रही है।
ओसामा बिन लादेन जितनी रखी गई मादुरो पर ईनामी राशी
रिपोर्टों के अनुसार, 2020 में, ट्रंप के पहले कार्यकाल के दौरान, न्यूयॉर्क की एक अदालत में उन पर मादक पदार्थों की तस्करी और नार्को-आतंकवाद के गंभीर आरोप लगाए गए थे। उस समय मादुरो पर 1.5 करोड़ डॉलर का इनाम था, जिसे बाइडेन सरकार ने बढ़ाकर 2.5 करोड़ डॉलर कर दिया था। लेकिन ट्रंप ने इसे वापस कर दिया और इसे दोगुना कर दिया। आपको जानकर हैरानी होगी कि यह राशि 2001 में 9/11 हमलों के मास्टरमाइंड ओसामा बिन लादेन पर रखे गए इनाम के बराबर है।
समाचार एजेंसी एपी में प्रकाशित रिपोर्ट के अनुसार, अटॉर्नी जनरल पाम बॉन्डी ने गुरुवार को इनाम की घोषणा करते हुए एक वीडियो में कहा, “राष्ट्रपति ट्रंप के नेतृत्व में, मादुरो न्याय से बच नहीं पाएंगे और उन्हें उनके जघन्य अपराधों के लिए जवाबदेह ठहराया जाएगा।”
क्या है पूरा मामला?
अमेरिकी सरकार का कहना है कि मादुरो ड्रग कार्टेल के साथ मिलकर भारी मात्रा में कोकीन की तस्करी कर रहे हैं। अमेरिकी ड्रग एजेंसी ने मादुरो का 70 लाख टन कोकीन ज़ब्त किया है, जिसमें फेंटेनाइल नामक एक खतरनाक ड्रग मिला हुआ है। यह ड्रग अमेरिका में नशे की लत बढ़ा रहा है। इस पर कार्रवाई करते हुए, अमेरिका ने मादुरो की 70 करोड़ डॉलर की संपत्ति ज़ब्त कर ली है, जिसमें दो निजी जेट भी शामिल हैं।
आपको बता दें कि 2024 में वेनेजुएला में मादुरो ने दोबारा चुनाव जीता, लेकिन अमेरिका, यूरोपीय संघ और कई लैटिन अमेरिकी देशों ने इसे फर्जी बताया। इन देशों ने मादुरो के प्रतिद्वंद्वी को असली राष्ट्रपति मान लिया। फिर भी मादुरो सत्ता में बने हुए हैं।

