आजकल शहरों की हवा इतनी ज्यादा प्रदूषित हो चुकी है कि घर के अंदर रहना भी अब सुरक्षित नहीं बचा. दिल्ली जैसे शहरों में तो हवा गैस चेंबर जैसी लगती है, जहां सांस लेना तक मुश्किल हो जाता है. ऐसे में एयर प्यूरीफायर हमारे लिए जरूरी हो गया है. लेकिन सिर्फ महंगा प्यूरीफायर खरीद लेने से हवा साफ नहीं होती. असली फर्क डालती है CADR रेटिंग — जिसे देखकर ही आपको सही मशीन चुननी चाहिए.
CADR का मतलब क्या है?
CADR का पूरा नाम Clean Air Delivery Rate है. ये बताता है कि एयर प्यूरीफायर एक मिनट में कितनी साफ हवा निकाल सकता है. इसे CFM (Cubic Feet per Minute) में मापा जाता है. जितना बड़ा नंबर होगा, उतनी जल्दी आपका कमरा साफ होगा. उदाहरण के लिए, अगर किसी प्यूरीफायर का CADR 300 है, तो इसका मतलब है कि वह हर मिनट 300 क्यूबिक फीट हवा को साफ कर सकता है.
CADR रेटिंग के तीन प्रकार
हर प्यूरीफायर में तीन अलग-अलग CADR रेटिंग होती हैं- पहली धुएं के लिए, दूसरी धूल के लिए, और तीसरी एलर्जी (परागकण या पोलन) के लिए. एक अच्छी मशीन में ये तीनों रेटिंग्स लगभग बराबर होती हैं. अगर किसी एक की रेटिंग कम है, तो वह उस प्रकार की गंदगी या प्रदूषण को पूरी तरह नहीं हटा पाएगी. इसलिए जब भी एयर प्यूरीफायर खरीदें, उसके पैक पर ये तीनों CADR नंबर जरूर देखें.
कमरे के आकार के हिसाब से CADR चुनें
एयर प्यूरीफायर खरीदने से पहले अपने कमरे का साइज मापना जरूरी है. कमरे की लंबाई × चौड़ाई × ऊंचाई को गुणा करें, इससे कुल साइज “क्यूबिक फीट” में निकलेगा. अब कमरे के कुल साइज का दो-तिहाई CADR रेटिंग चुनें. जैसे अगर आपका कमरा 200 वर्ग फीट का है और 10 फीट ऊंचा है, तो कुल वॉल्यूम 2000 क्यूबिक फीट होगा. इसके लिए 130 से 150 CFM वाला प्यूरीफायर एकदम सही रहेगा. इससे हवा हर घंटे 4-5 बार साफ हो जाएगी.
कम CADR रेटिंग से क्या होता है नुकसान?
अगर आप बड़े कमरे में कम CADR वाला प्यूरीफायर लगाते हैं, तो यह पूरी हवा साफ नहीं कर पाएगा. मशीन लगातार चलती रहेगी, बिजली भी ज्यादा लगेगी और शोर भी बढ़ेगा. इतना पैसा खर्च करने के बाद भी आपको साफ हवा नहीं मिलेगी. यही वजह है कि एयर प्यूरीफायर चुनते समय CADR नंबर को नजरअंदाज करना सबसे बड़ी गलती साबित हो सकती है.
CADR रेटिंग कैसे जांची जाती है?
CADR कोई कंपनी खुद नहीं बनाती, बल्कि अमेरिका की एक संस्था AHAM (Association of Home Appliance Manufacturers) इसे जांचती है. ये संस्था प्यूरीफायर को एक बंद कमरे में रखकर टेस्ट करती है. कमरे में धूल, धुआं और अन्य पार्टिकल्स छोड़े जाते हैं और फिर देखा जाता है कि मशीन कितनी जल्दी हवा को साफ करती है. इसी आधार पर CADR नंबर तय किया जाता है. भारत में भी कई कंपनियां AHAM से सर्टिफिकेट लेती हैं. इसलिए जब भी एयर प्यूरीफायर खरीदें, मशीन पर AHAM Certified लिखा हुआ निशान जरूर देखें. बिना सर्टिफिकेट वाले CADR नंबर पर भरोसा करना सही नहीं है.

