Indian National Food : आज के समय में बच्चे से लेकर बेड़ों तक हर किसी को ये ता पता है कि नेशनल फ्लैग और नेशनल एनिमल क्या है, लेकिन क्या आपको पता है कि हमारा नेशनल फूड क्या है. चौक गए ना?…ऐसे काफी लोग है, जिन्हें इसके बारे में नहीं पता है तो आइए जानते हैं कि क्या है. भारत में एकता का अनोखा उदाहरण है- चाहे वो भाषा हो, संस्कृति हो या फिर भोजन. हर राज्य, हर कोने का अपना अलग स्वाद और स्पेशल खाना है. लेकिन जब सवाल उठता है भारत के ‘राष्ट्रीय भोजन‘ का, तो जवाब जानकर आप चौंक सकते हैं।
भारत का फेमस व्यंजन
भारत में भोजन केवल पेट भरने का जरिया नहीं, बल्कि एक सांस्कृतिक पहचान है. देश के अलग-अलग हिस्सों में बनने वाले व्यंजन न केवल भारतीयों के बल्कि दुनियाभर के लोगों के स्वाद को भाते हैं.
दक्षिण भारत का इडली-डोसा.
उत्तर भारत का बटर चिकन और छोले-भटूरे.
पश्चिम बंगाल की मिठाइयां जैसे रसगुल्ला.
गुजरात का ढोकला.
ये सब व्यंजन भारत की विरासत का हिस्सा हैं.
क्या भारत का कोई नेशनल भोजन है?
अब सवाल ये उठता है कि क्या भारत का कोई स्पेशल नेशनल भोजन है? उत्तर है – नहीं. सरकारी रूप से भारत ने किसी एक व्यंजन को ‘राष्ट्रीय भोजन‘ घोषित नहीं किया है.
फिर खिचड़ी क्यों मानी जाती है राष्ट्रीय भोजन?
हालांकि सरकार ने किसी व्यंजन को आधिकारिक दर्जा नहीं दिया है, फिर भी खिचड़ी को अक्सर राष्ट्रीय भोजन की तरह देखा जाता है. इसका कारण है कि यs पूरे देश में हर वर्ग, हर समुदाय द्वारा खाई जाती है.
हर जगह खाई जाती है खिचड़ी
खिचड़ी केवल एक डिश नहीं, बल्कि भारत की एकता का प्रतीक है. अलग-अलग क्षेत्रों में इसे अलग तरीके से बनाया जाता है– कहीं इसमें दाल-चावल होते हैं, तो कहीं इसमें सब्जियों का तड़का भी डाला जाता है. लेकिन इसका मूल भाव एक ही रहता है – सादगी और स्वास्थ्य.
खिचड़ी बनाना आसान है, कम समय लेती है और जेब पर भी भारी नहीं पड़ती. यही कारण है कि भारत के हर वर्ग के लोग इसे पसंद करते हैं — चाहे वो किसी त्योहार में हो, बीमार होने पर हल्का भोजन हो या किसी भोज में साइड डिश के रूप में.
भारत का कोई स्पेशल राष्ट्रीय भोजन नहीं है, लेकिन खिचड़ी ने अपने स्वास्थ्यवर्धक गुणों, सरलता और लोकप्रियता के कारण अनौपचारिक रूप से ये स्थान बना लिया है. ये व्यंजन सही मायनों में विविधता में एकता की मिसाल है, जैसा कि भारत खुद है.

