Premanand Ji Maharaj: वृंदावन के प्रसिद्ध संत प्रेमानंद महाराज के स्वास्थ्य को लेकर देश भर के भक्त काफी मायूस और परेशान हैं. जहां एक तरफ मंदिरों में उनके स्वास्थ्य के लिए प्रार्थनाएं हो रही हैं, वहीं मुस्लिम धार्मिक स्थलों पर भी उनकी सेहत के लिए दुआएं मांगी जा रही हैं. बहुत कम लोगों को सलामती की ऐसी दुआ का सौभाग्य मिलता है जब हिंदू और मुसलमान एक साथ एक व्यक्ति के लिए प्रार्थना करते हैं. वहीं प्रेमानंद महारज एक ऐसे शख्स हैं जिन्होंने इस नफरत की दुनिया में प्यार बांटने का काम किया है. इस बात को सिर्फ हिंदू धर्म के लोग ही नहीं बल्कि मुस्लिम सिख और ईसाई, हर धर्म के लोग स्वीकारने को तैयार हैं.
मदीने के बाद दरगाह पहुंचे मुस्लिम
जैसा की आप सभी जानते हैं कि सऊदी अरब के मदीना से एक मुस्लिम श्रद्धालु ने प्रेमानंद महाराज के शीघ्र स्वस्थ होने की प्रार्थना की, और यह परंपरा अब भारत में हज़रत ख्वाजा मोइनुद्दीन हसन चिश्ती (अल्लाह उन पर प्रसन्न हो) की पवित्र दरगाह, अजमेर शरीफ तक पहुंच गई है. फाउंडेशन के सदस्यों और दरगाह से जुड़े लोगों ने महाराज के शीघ्र स्वस्थ होने की प्रार्थना के लिए एक चादर भी चढ़ाई.
इस गंभीर रोग से गुजर रहे महाराज
वृंदावन के संत प्रेमानंद महाराज के स्वास्थ्य लाभ और दीर्घायु की प्रार्थना केवल हिंदू मंदिरों तक ही सीमित नहीं है, बल्कि मुस्लिम समुदाय के लोग भी श्रद्धापूर्वक उनके लिए प्रार्थना कर रहे हैं. इस दौरान दरगाह के खुद्दाम-ए-ख्वाजा अंजुमन के सदस्य हाजी सैयद एहतेशाम चिश्ती और बाकी जायरीनों ने दुआ की. प्रेमानंद महाराज, जिनका असली नाम अनिरुद्ध कुमार पांडे है, 2006 से पॉलीसिस्टिक किडनी रोग से पीड़ित हैं. उन्हें नियमित रूप से डायलिसिस की आवश्यकता होती है. जहाँ उनके अनुयायी और प्रशंसक उनके स्वास्थ्य को लेकर चिंतित हैं, वहीं उनके संगठन, श्री हित राधा केलि कुंज परिकर श्रीधाम वृंदावन ने पुष्टि की है कि उनका स्वास्थ्य अच्छा है और भक्तों से अफवाहों पर ध्यान न देने का आग्रह किया है.
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