Indigo Flight Cancelled: भारत की सबसे बड़ी एयरलाइन इंडिगो (IndiGo) इस समय गंभीर परिचालन संकट से गुजर रही है, जिसके कारण उसकी विश्वसनीयता और समय की पाबंदी पर भारी सवाल उठ रहे हैं. विमानन नियामक डीजीसीए (DGCA) के आधिकारिक आंकड़ों के मुताबिक, एयरलाइन को केवल एक महीने में 1,232 उड़ानें रद्द करनी पड़ीं. इनमें से अधिकतर रद्द उड़ानें आंतरिक अव्यवस्था और परिचालन संबंधी चुनौतियों का परिणाम थीं.
अन्य रद्द हुए शेड्यूल में एयरपोर्ट/एयरस्पेस प्रतिबंध (258 उड़ानें), एटीसी सिस्टम फेलियर (92) तथा अन्य श्रेणी (127) शामिल रहे. इस बड़े स्तर के व्यवधान का सीधा प्रभाव एयरलाइन की On-Time Performance (OTP) पर पड़ा है. अक्टूबर में जहां OTP 84.1% थी, वहीं नवंबर में यह गिरकर सिर्फ 67.70% रह गई. उड़ानों की देरी के मुख्य कारणों में एटीसी (16%), क्रू/ऑपरेशंस (6%) और एयरपोर्ट से जुड़े मुद्दे (3%) हैं.
डीजीसीए की कार्रवाई और निर्देश
विमानन नियामक ने इस अव्यवस्था को गंभीरता से लेते हुए इंडिगो को मुख्यालय में तलब किया है. DGCA ने एयरलाइन से तत्काल स्थिति का पूरा विवरण देने और देरी तथा रद्दीकरण को कम करने के लिए विस्तृत सुधार योजना पेश करने को कहा है. यात्रियों को सलाह दी गई है कि वे हवाई अड्डे के लिए निकलने से पहले अपनी फ्लाइट स्टेटस ऑनलाइन जरूर जांचें ताकि किसी असुविधा से बच सकें.
उड़ानों में देरी के पीछे की असली वजह
इंडिगो के मौजूदा संकट की सबसे महत्वपूर्ण वजह चालक दल (Crew), खासकर पायलटों की भारी कमी है. यह स्थिति उस समय और गंभीर हो गई जब पिछले महीने नए Flight Duty Time Limit (FDTL) नियम लागू किए गए. इन नियमों में पायलटों और चालक दल के लिए ज्यादा आराम के घंटे अनिवार्य किए गए हैं और शेड्यूल अधिक मानवीय बनाया गया है.
इंडिगो के विशाल नेटवर्क को इन नए मानकों के साथ तुरंत समायोजित करना चुनौतीपूर्ण साबित हुआ. परिणामस्वरूप, एयरलाइन के पास पर्याप्त पायलट उपलब्ध नहीं रहे और उसकी फ्लाइट ऑपरेशंस में बड़े पैमाने पर व्यवधान हुआ. इससे समय की पाबंदी में भारी गिरावट और उड़ानों की रद्दीकरण की संख्या में बढ़ोतरी हुई.
इंडिगो की प्रतिक्रिया और स्थिति संभालने के प्रयास
अपने परिचालन संकट पर प्रतिक्रिया देते हुए, इंडिगो ने बयान जारी कर कहा है कि वह अपने शेड्यूल में अस्थायी समायोजन कर रही है ताकि उड़ानों की संख्या नियंत्रित की जा सके और पायलटों की उपलब्धता के अनुसार संचालन को संतुलित बनाया जा सके. एयरलाइन के अनुसार, ये सुधारात्मक कदम आने वाले 48 घंटों तक जारी रहेंगे. कंपनी का दावा है कि इससे धीरे-धीरे नेटवर्क में सामान्य स्थिति बहाल होगी और समय की पाबंदी सुधरेगी.

