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kaan Fighter Jets Deal: भारत के दुश्मन देश के साथ इंडोनेशिया ने की 10 अरब डॉलर की डिफेंस डील, पांचवीं पीढ़ी का लड़ाकू विमान खरीदेगा दुनिया का सबसे बड़ा मुस्लिम देश

kaan Fighter Jets Deal: KAAN लड़ाकू विमान, तुर्की द्वारा विकसित एक अत्याधुनिक पाँचवीं पीढ़ी का लड़ाकू विमान है, जो अपनी हवाई श्रेष्ठता, सटीक हमले और बहु-भूमिका क्षमताओं के लिए जाना जाता है। रिपोर्टों के अनुसार, इसका पहला प्रोटोटाइप 2023 में पेश किया जाएगा और इसकी पहली सफल परीक्षण उड़ान 2024 में हुई।

Published by Shubahm Srivastava

Turkey-Indonesia Deal: ऑपरेशन सिंदूर में पाकिस्तान का साथ देने वाले तुर्की को एक बड़ा रक्षा सौदा मिला है। दरअसल, इंडोनेशिया और तुर्की के बीच 48 KAAN लड़ाकू विमानों की बिक्री के लिए 10 अरब डॉलर का सौदा हुआ है। यह सौदा राजधानी इस्तांबुल में आयोजित अंतरराष्ट्रीय रक्षा मेले (IDEF) के दौरान हुआ। आपको बता दें कि यह तुर्की का अत्याधुनिक लड़ाकू विमानों का पहला निर्यात सौदा है।

इससे पहले 11 जून को राष्ट्रपति रेचेप तैयप एर्दोआन ने इस सौदे की घोषणा की थी। इंडोनेशिया के साथ इस सौदे के साथ, तुर्की ने न केवल अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अपनी तकनीकी क्षमताओं का प्रदर्शन किया है, बल्कि अपनी घरेलू एयरोस्पेस परियोजनाओं को वैश्विक स्तर पर ले जाने की दिशा में भी एक बड़ा कदम उठाया है।

तुर्की के KAAN की खासियत

KAAN लड़ाकू विमान, तुर्की द्वारा विकसित एक अत्याधुनिक पाँचवीं पीढ़ी का लड़ाकू विमान है, जो अपनी हवाई श्रेष्ठता, सटीक हमले और बहु-भूमिका क्षमताओं के लिए जाना जाता है। रिपोर्टों के अनुसार, इसका पहला प्रोटोटाइप 2023 में पेश किया जाएगा और इसकी पहली सफल परीक्षण उड़ान 2024 में हुई।

इसकी विशेषताओं की बात करें तो, KAAN लड़ाकू विमान रडार से बचने के लिए एक उन्नत डिज़ाइन वाला है। इसकी गति सुपरसोनिक है। यह हवाई युद्ध, ज़मीनी हमले और निगरानी में माहिर है।

इसके अलावा, यह डिजिटल एवियोनिक्स और AI से लैस है। KAAN को पहले TF-X के नाम से जाना जाता था। तुर्की 2028 में इसका सीरियल उत्पादन शुरू करेगा और इंडोनेशिया को इसकी डिलीवरी 2030 से शुरू होगी।

दो मुस्लिम देशों के बीच गहरी होती मित्रता

यह सौदा इंडोनेशिया की रणनीतिक दृष्टि के लिए कई मायनों में महत्वपूर्ण है। KAAN की खरीद न केवल इंडोनेशिया के लिए एक तकनीकी उन्नयन है, बल्कि यह तुर्की के साथ देश की एयरोस्पेस क्षमताओं में दीर्घकालिक साझेदारी की नींव भी रखता है। तुर्की रक्षा उद्योग एजेंसी ने कहा कि यह सौदा इंजीनियरिंग, उत्पादन और तकनीकी सहयोग के एक नए युग की शुरुआत है। यह दो मुस्लिम बहुल देशों के बीच रणनीतिक गहराई और मित्रता को दर्शाता है।

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Shubahm Srivastava

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