Delhi Flood: इन दिनों राजधानी दिल्ली में यमुना नदी का जलस्तर लगातार बढ़ रहा है, जिससे बाढ़ की आशंका तेज हो गई है। 8 अगस्त 2025 की सुबह 8 बजे यमुना का पानी 205.10 मीटर तक पहुंच गया, जो कि खतरे के निशान 205.33 मीटर से बेहद थोड़ा नीचे है। इससे पहले 204.50 मीटर के चेतावनी स्तर को पार किया जा चुका है। अगर जलस्तर में और वृद्धि होती है, तो दिल्ली के निचले इलाकों में पानी भर सकता है और बाढ़ की स्थिति बन सकती है।
दिल्ली प्रशासन पहले ही सतर्क हो चुका है। करीब 12,000 लोगों को अलर्ट किया गया है और जरूरत पड़ने पर उन्हें सुरक्षित स्थानों पर शिफ्ट किया जाएगा। चूंकि हरियाणा और उत्तराखंड से छोड़ा गया पानी 48 से 50 घंटे में दिल्ली पहुंचता है, इसलिए अगले 1-2 दिन बेहद महत्वपूर्ण हैं।
दिल्ली बाढ़ के दौरान मदद के लिए जरूरी हेल्पलाइन नंबर
1. आपदा प्रबंधन हेल्पलाइन – 1077
अगर आप बाढ़ में फंसे हैं या किसी तरह की आपदा से जूझ रहे हैं, तो इस नंबर पर कॉल करें। यह 24×7 एक्टिव रहता है।
2. दिल्ली जल बोर्ड हेल्पलाइन – 1916
यदि आपके इलाके में जलभराव, सीवर ब्लॉकेज या पानी की सप्लाई से जुड़ी कोई समस्या है, तो इस नंबर पर संपर्क करें।
3. PWD कंट्रोल रूम – WhatsApp: 8130188222
सड़क पर पानी भर गया हो या रास्ता बंद हो गया हो, तो आप इस नंबर पर फोटो या जानकारी भेज सकते हैं।
4. दिल्ली ट्रैफिक पुलिस
Twitter (@dtptraffic) पर हर समय ट्रैफिक डायवर्जन और बंद सड़कों की जानकारी मिलती रहती है।
5. दिल्ली मेट्रो अपडेट्स
DMRC का ट्विटर हैंडल फॉलो करें, जहां आपको मेट्रो संचालन से जुड़ी हर सूचना मिलेगी।
6. एक ही नंबर से कई शिकायतें – 311
NDMC, MCD, जल बोर्ड, PWD आदि विभागों को शिकायत दर्ज कराने के लिए यह नंबर सबसे सरल विकल्प है।
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बाढ़ से बचाव के लिए जरूरी सुरक्षा उपाय
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बच्चों और बुजुर्गों को घर के अंदर ही रखें, जब तक जरूरी न हो, बाहर न निकलें।
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मोबाइल पूरी तरह चार्ज रखें और पावर बैंक भी साथ रखें।
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जरूरी दस्तावेज, दवाइयां और जरूरी सामान एक बैग में तैयार रखें।
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निचले इलाकों में रहने वाले लोग पहले से ऊंची जगह पर जाने की योजना बना लें।
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अगर पानी घर में घुसने लगे, तो तुरंत बिजली की सप्लाई बंद कर दें।
अगर आप दिल्ली में रह रहे हैं, तो आने वाले कुछ दिन सतर्कता बरतने के हैं। जलस्तर में थोड़ी सी बढ़ोतरी भी स्थिति को गंभीर बना सकती है। ऐसे में जरूरी है कि आप सभी आपातकालीन हेल्पलाइन नंबर संभालकर रखें और बाढ़ से बचाव के उपायों को अपनाएं।

