Navratri Kanya Pujan 2025: नवरात्रि के 8वें और 9वें दिन ही क्यों की जाती है कंजक? जानें क्या है खास कारण
Navratri Kanya Pujan 2025: क्या आप जानते हैं कि कन्या पूजान यानी कंजका नवरात्रि के सिर्फ 8वें और 9वें दिन में ही क्यों किया जाता है? अगर नहीं, तो चलिए जानते हैं यहां कि क्या है इसके पीछे का रहस्ये
नवरात्रि के 8वें और कुछ 9वें दिन क्यों करते हैं कंजक यानी कन्या पूजन?
नवरात्रि में 9 दिनों तक माता दुर्गा के 9 स्वरूपों की पूजा की जाती है और भक्त इस दौरान व्रत रखते हैं और नवरात्रि के अंतिम दिन यानी अष्टमी और नवमी तीथी पर कन्या पूजन करते हैं, लेकिन कन्या पूजान यानी कंजका नवरात्रि के सिर्फ 8वें और कुछ 9वें दिन ही क्यों की जाती है, चलिए जानते हैं यहां
छोटी कन्याएं होती है देवी का रूप
धार्मिक ग्रंथों के अनुसार में नवरात्रि के अंतिम दिन यानी अष्टमी और नवमी तीथी में कन्या पूजन का विशेष महत्व का विशेष महत्व होता है. कहा जाता है छोटी कन्याओं को देवी के सामान माना जाता है क्योंकि उनमें में देवी शक्ति का वास होता है
घर में किया जाता है छोटी कन्याओं को आमंत्रित
नवरात्रि की अष्टमी और नवमी तीथी के दिन छोटी कन्याओं को घर में आमंत्रित किया जाता है, उन्हें भोजन कराया जाता है औरउपहार भी दिए जाते है, ताकी माता रानी खुश हो और जीवन में सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है
सारे पाप हों जाते हैं खत्म
धार्मिक मान्ताओं के अनुसार कहा जाता जो भी व्यक्ति नवरात्रि के 8वें और कुछ 9वें दिन कन्या पूजन करता है, उसके सारे पाप खत्म होते है और माता दुर्गा का उसे आशीर्वाद प्राप्त होता है
देवी भागवत पुराण में भी है उल्लेख
देवी भागवत पुराण में भी इस बात का उल्लेख किया गया है कि नवरात्रि की अष्टमी और नवमी तीथी में कन्याओं को देवी के सामान पूजने से व्यक्ति को मोक्ष और जीवन में उसकी खूब उन्नति होती है
कन्या पूजन से घर में आती है सुख- समृद्धि
नवरात्रि के 8वें और कुछ 9वें दिन कंजक यानी कन्या पूजन करने से माता दुर्गा के आशीर्वाद से घर में सुख- समृद्धि आती है और शांती बनी रहती है. साथ ही वास्तु दोष भी खत्म होता है
कन्या पूजन की विधि
शारदीय नवरात्रि में की अष्टमी और नवमी तीथी में कन्या पूजन के लिए सुबह जल्दी स्नान करके पूजा की तैयारी कर लेनी चाहिए
हलवा पूरी और काले चने का लगता है भोग
माता दुर्गा का ध्यान कर के कन्याओं का भोग तैयार करना चाहिए और भोग में आप हल्वा पूरी और काले चने बनाना चाहिए. क्योंकि नवरात्रि में कंजकों को इसी प्रसाद का भोग लगाना चाहिए, इसमें एक भी चींज कम हो तो भोग अधूरा माना जाता है.
जरूर देना चाहिए कन्याओं को तोहफा
नवरात्रि में में 2 से 10 उम्र कर की नौ कन्याओं को आमंत्रित करना चाहिए और उन्हेंं नौ देवियों का रूप मानना चाहिए और उसी आदर और प्रेम के साथ उनकी पूजा करनी चाहिए. इसके बाद कुमकुम, पुष्प और अक्षत से तिलक करना चाहिए और उनके चरण धोकर शुद्ध करने चाहिए. इसके बाद भोग के साथ उन्हें कोई तोहफा भी जरूर देना चाहिए
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