September 19, 2024
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जानिए क्या है तुर्की में लगाया जा रहा "भूकंप टैक्स", इरदुगान सरकार पर लगे गंभीर आरोप

  • WRITTEN BY: Vikas Rana
  • LAST UPDATED : February 9, 2023, 8:04 am IST

नई दिल्ली। मुस्लिम देश तुर्की के लिए सोमवार का दिन अच्छा नहीं रहा, 7 से ज्यादा तीव्रता के आए भूकंप ने  हजारों लोगों की जिंदगियां छीन ली, लगातार आए इन भूकंप के झटकों ने तुर्की का चेहरा ही बदल दिया है, इस भूकंप के कहर से जो लोग बच गए, उनके लिए दिक्कतें और बढ़ गई, अपना सब कुछ गंवा चुके लोग सर्द रातों में या तो सड़कों पर या फिर राहत शिविरों में रहने को मजबूर हैं। ऐसे में राष्ट्रपति रजब तैयब इरदुगान की सरकार पर भूकंप टैक्स को लेकर नया विवाद सामने आया है।

क्या है भूकंप टैक्स ?

साल 1999 में तुर्की में एक भीषण भूकंप आया था, जिसमें 17000 से ज्यादा लोगों की मौत हुई थी। इस भूकंप से उबर पाना तुर्की के लिए आसान नहीं था। बड़े पैमाने पर देश को आर्थिक नुकसान झेलना पड़ा था। ऐसे में तत्कालीन सरकार ने भूकंप जैसी प्राकृतिक आपदा से निपटने और लोगों के लिए राहत कार्यां के लिए पैसे जुटाने के लिए भूकंप टैक्स वसूलना शुरू किया था। तब से लगातार यह टैक्स लोगों से वसूला जा रहा है और फिलहाल इसकी धनराशि की अनुमानित राशि 88 अरब लीरा यानी 4.6 अरब डॉलर बताई जा रही है। इस टैक्स को आधिकारिक तौर पर स्पेशल कम्युनिकेशन टैक्स कहा जाता है, लेकिन सरकार ने आज तक कभी यह सार्वजनिक नहीं किया कि इस धनराशि का इस्तेमाल किस तरह किया गया है।

बता दें, तुर्की सरकार ने भूकंप से सर्वाधिक प्रभावित 10 प्रांतों में तीन महीने का आपतकाल लगा दिया है। इस तरह से यह आपतकाल अप्रैल तक रहेगा और मई में देश में राष्ट्रपति चुनाव होने जा रहे हैं। विपक्ष इसे भी रजब तैयब इरदुगान सरकार का सियासी हथकंडा बता रहा है। तुर्की में विपक्ष के रूप में दक्षिणपंथी पार्टियां सेंटर लेफ्ट पार्टियों का गठबंधन है। विपक्षी गठबंधन की ओर से केमल किलिकडारोग्लू राष्ट्रपति पद के लिए उम्मीदवार बन सकते हैं। उन्होंने रजब तैयब इरदुगान सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि उनकी सरकार ने इतने सालों में भूकंप से निपटने को लेकर कोई तैयारी नहीं की थी। केमल ने बकायदा एक वीडियो पोस्ट कर कहा कि वह राष्ट्रपति इरदुगान से किसी भी प्लेटफॉर्म पर मुलाकात नहीं करेंगे। उन्होंने इरदुगान पर भूकंप के बाद से पीआर गतिविधियों में शामिल होने का आरोप लगाया है।

बता दें, विपक्ष के अलावा भूकंप से प्रभावित स्थानीय लोग भी अर्दागन सरकार से सवाल पूछ रहे हैं कि हमारे टैक्स का पैसा कहां गया है। हमने 1999 से जो पैसा भूकंप टैक्स के तौर पर दिया है, वह कहां है?

भूकंप टैक्स का हुआ दुरुपयोग

भूकंप टैक्स फंड को लेकर सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया गया है। सरकार पर आरोप लगाए जा रहे हैं कि भूकंप टैक्स के नाम पर इकट्ठा की गई अधिकांश धनराशि उस उद्देश्य के लिए इस्तेमाल ही नहीं की गई, जिस नाम पर लोगों से वसूली की गई थी। सरकार ने इतने सालों में कभी नहीं बताया कि यह पैसा कहां और कब खर्च किया गया है।

अरब न्यूज के अनुसार तुर्की की विपक्षी पार्टियों का आरोप है कि सरकार भूकंप से शहरों और गांवों को बचाने के लिए इकट्ठा कर रहे भूकंप टैक्स का दुरुपयोग कर रही है। पेशे से वकील और नेता अल्पाय एंटमेन का कहना है कि इस फंड का इस्तेमाल शहरों के विकास और भूकंप प्रभवित क्षेत्रों से आपदा से बचाव में किया जाना था लेकिन इस धनराशि का एक बड़ा हिस्सा अन्य उद्देश्यों पर खर्च किया गया है और यह धनराशि सरकार के करीबी बिल्डरों को ट्रांसफर कर दी गई।

विपक्ष का कहना है कि 2019 में उन्होंने भूकंप टैक्स से इकट्ठा हुई धनराशि को सरकार ने जहां-जहां खर्च किया है, उसका ब्यौरा तत्कालीन वित्त मंत्री को सौंपा था। यह जांच रिपोर्ट बाद में तुर्की के गृह मंत्रालय को सौंपी गई लेकिन वहां से जवाब है कि उन्हे इसकी कोई जानकारी नहीं हैं।

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