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घास की रोटी खाने को मजबूर हैं POK के लोग, कहा- पाकिस्तानी सेना सिर्फ अय्याशी करती है

पीओके की आम जनता और अवामी एक्शन कमेटी के लोगों ने पाकिस्तानी सेना और आतंकवादी संगठनों- जैश-ए-मोहम्मद और लश्कर-ए-तैयबा के खिलाफ खुलकर उठाई है। अवामी एक्शन कमेटी के नेता अजमल राशिद ने एक जनसभा में कहा कि हम लोग घास की रोटी खाने को मजबूर हैं और ये सरकार हमें सिर्फ परमाणु बम का सपना दिखाती रहती है।

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inkhbar News
  • April 21, 2025 4:57 pm Asia/KolkataIST, Updated 3 weeks ago

नई दिल्ली। पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर (POK) में लोग बगावत पर उतर आए हैं। पीओके के लोगों ने पहली बार आतंकवाद और पाकिस्तानी सरकार की नीतियों के खिलाफ खुलेआम विरोध दिखाया है। पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर के कई गैर-राजनीतिक और सामाजिक संगठनों ने पाकिस्तान की ओर से भारत के खिलाफ चलाई जा रही प्रॉक्सी वॉर की खुलकर निंदा की है।

हम घास की रोटी खाने को मजबूर…

बता दें कि पीओके की आम जनता और अवामी एक्शन कमेटी के लोगों ने पाकिस्तानी सेना और आतंकवादी संगठनों- जैश-ए-मोहम्मद और लश्कर-ए-तैयबा के खिलाफ खुलकर उठाई है। अवामी एक्शन कमेटी के नेता अजमल राशिद ने एक जनसभा में कहा कि हम लोग घास की रोटी खाने को मजबूर हैं और ये सरकार हमें सिर्फ परमाणु बम का सपना दिखाती रहती है।

अजमल राशिद ने आगे कहा कि पाकिस्तान की सरकार ने जनता को भूखा रखकर परमाणु बम बनाने पर ज्यादा ध्यान केंद्रित किया है। उन्होंने यह भी कहा कि पाकिस्तान के द्वारा कश्मीर में चलाया गया तथाकथित जिहाद अब पूरी तरह असफल साबित हो चुका है। राशिद ने कहा कि अब पीओके के युवा आतंकवाद की राह न चुनें।

पाक सेना-अधिकारियों पर बड़े आरोप

गौरतलब है कि पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर के लोगों ने पाकिस्तानी सेना बड़े आरोप लगाए हैं। लोगों का कहना है कि पाक सेना खुद ऐश करती है, जबकि उनके घरों के बच्चों को नियंत्रण रेखा (LOC) पर भेज दिया जाता है, जहां पर उनकी जान हमेशा जोखिम में रहती है। आम लोगों ने यह भी आरोप लगाया है कि पाकिस्तान के अधिकारी और मौलवी अपने बच्चों को विदेश पढ़ने और कमाने के लिए भेजते हैं, लेकिन गरीबों के बच्चों को वो जिहाद के नाम पर मौत के मुंह में धकेलते रहते हैं।

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