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174 लाख करोड़ का सोना… बलूच आर्मी और पाकिस्तानी सेना के बीच जंग की ये है असली वजह

बलूच लिबरेशन आर्मी (BLA) के लड़ाकों ने बीते दिनों जफर एक्सप्रेस नाम की एक पैसेंजर ट्रेन को हाईजैक कर लिया। जिसके बाद बलूच आर्मी और पाक सेना के बीच जंग छिड़ गई। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक अभी तक 100 से ज्यादा पाकिस्तानी सैनिक और 30 बलूच लड़ाके मारे जा चुके हैं।

Baloch Army-Gold-Shahbaz Sharif
  • March 12, 2025 9:55 pm Asia/KolkataIST, Updated 1 week ago

नई दिल्ली। पाकिस्तान का बलूचिस्तान प्रांत इस वक्त जंग का अखाड़ा बना हुआ है। यहां अलगावादी संगठन- बलूच लिबरेशन आर्मी (BLA) के लड़ाकों ने बीते दिनों जफर एक्सप्रेस नाम की एक पैसेंजर ट्रेन को हाईजैक कर लिया। जिसके बाद बलूच आर्मी और पाक सेना के बीच जंग छिड़ गई। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक अभी तक 100 से ज्यादा पाकिस्तानी सैनिक और 30 बलूच लड़ाके मारे जा चुके हैं।

इस बीच आइए जानते हैं कि बलूच आर्मी क्या है और वो क्यों पाकिस्तानी सेना और सरकार के खिलाफ मोर्चा खोले हुए है…

बलूच लिबरेशन आर्मी के बारे में जानें

बलूच लिबरेशन आर्मी एक अलगाववादी संगठन है। बलूच आर्मी का मानना है कि पाकिस्तान ने जबरदस्ती उन्हें अपने देश में शामिल किया हुआ है। पाकिस्तान के लोग बलूचिस्तान के संसाधनों से देश के बाकी हिस्सों का विकास कर रहे हैं, लेकिन वहां का विकास नहीं कर रहे हैं। बलूच आर्मी का मानना है कि बलूचिस्तान को एक अलग मुल्क होना चाहिए। पाकिस्तान की आर्मी और उनकी सरकार बलूच लोगों को दोएम दर्जे का नागरिक मानती है।

बलूचिस्तान में झगड़े की असली वजह

बता दें कि बलूचिस्तान की भौगोलिक स्थिति, उसे दुनिया के सबसे अमीर स्थानों की गिनती में खड़ा कर देती है। बलूचिस्तान की जमीन के नीचे तांबा, सोना, कोयला, यूरेनियम और अन्य खनिजों का अकूत भंडार मौजूद है। इसी वजह से यह पाकिस्तान का सबसे अमीर राज्य है। पाकिस्तान की रेको दिक खान सोने और तांबे की दुनिया की सबसे बड़ी खदानों में से एक है।

अनुमान जताया जाता है कि यहां पर 590 करोड़ टन खनिज हो सकता है। इसके प्रति टन भंडार में करीब 0.22 ग्राम सोना और 0.41 फीसदी तांबा है। इस हिसाब से जोड़े तो रेको दिक खान में 40 करोड़ टन सोना इस वक्त छिपा हुआ है। जिसकी अनुमानित कीमत करीब 174 लाख करोड़ रुपए है।

इतना खनिज भंडार होने के बावजूद इस इलाके को पाकिस्तान का सबसे पिछड़ा इलाका माना जाता है। बलूच लोगों का आरोप है कि पाकिस्तान ये बेशकीमती खदानें चीन को देना चाहता है। मालूम हो कि पाकिस्तान पर इस वक्त करीब 125 अरब डॉलर का विदेशी कर्ज है, जिसे चुकाने के लिए वो इन खनाजों का सौदा करना चाहता है।

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