नई दिल्ली : चंडीगढ़ यूनिवर्सिटी से लेकर भोजपुरी इंडस्ट्री तक इस समय MMS लीक होने की चर्चा हर जगह है. MMS यानी Multimedia Messaging Service इसका मतलब तो तस्वीरों और वीडियो से ही होता है लेकिन अर्थ के संदर्भ में आज इसके मायने बदल गए हैं. आज MMS को प्राइवेट वीडियो की तरह भी देखा जाता है. ऐसे में समझना जरूरी है कि आखिर एमएमएस या प्राइवेट वीडियो लीक कैसी होते हैं?
किसी फ़ोन या डिवाइस से MMS लीक होने के वैसे तो कई कारण हो सकते हैं लेकिन आज हम आपको कुछ ऐसे कारणों के बारे में बताने जा रहे हैं जिसे लेकर आपको भी सावधान रहने की जरूरत है. ऐसा ना करने से आपकी प्राइवेट जानकारी कई जगहों पर लीक हो सकती है. इतना ही नहीं इन वीडियोज़ को हैक करने के बाद लोग इन्हें वायरल करने के लिए कई साइट्स पर अपलोड भी कर देते हैं. खैर आज हम आपको सावधानियों के बारे में बताने जा रहे हैं की आपको क्या नहीं करना चाहिए जिससे आपकी जानकारी आप तक ही सुरक्षित रहे.
थर्ड पार्टी ऐप काफी खतरनाक होते हैं. इन ऐप्स से आपका फ़ोन भी हैक हो सकता है. ये आपके डिवाइस से कई तरह की परमिशन ले लेते हैं जिससे आपकी जानकारी इनमें आ जाती है और इसका एक्सेस भी इसे मिल जाता है. ऐसे में आपको किसी भी ऐप को डाउनलोड करने से पहले इसकी पूरी जानकारी छान लेनी चाहिए.
कई बार हम अपने पुराने फ़ोन को बेच देते हैं. बता दें, ऐसा करने से भी आपकी कई जानकारी किसी और के हाथ लग सकती है. इसके पीछे कारण है कि डिलीट करने के बाद भी आपका फ़ोन आपकी जानकारी का बैकअप रखता है जिसे किसी ना किसी तरीके से वापस लाया जा सकता है.
आपको किसी भी अननोन वेसाइट पर क्लिक नहीं करना चाहिए. ऐसा करने से आपके फ़ोन का कंट्रोल किसी और के हाथों में आसानी से जा सकता है. ऐसे में आप किसी भी लिंक को क्लिक करने से पहले दो बार जरूर सोचें. अगर आपको शक है कि आप किसी ऐसी वेबसाइट को अपने डिवाइस का एक्सेस दे चुके हैं तो आप इसे गूगल एक्टिविटी में जाकर चेक कर सकते हैं.
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