नई दिल्ली. जम्मू कश्मीर के हुर्रियत नेताओं के पाकिस्तान कनेक्शन को लेकर बड़ा खुलासा हुआ है. एक खूफिया रिपोर्ट के अनुसार, इमरान खान के पाकिस्तान की ओर से कश्मीर के हुर्रियत नेताओं को हवाला के जरिए जमकर पैसा भेजा जाता रहा है. कई बार हुर्रियत नेताओं को राजधानी दिल्ली में स्थित पाकिस्तान दूतावास से भी सीधा धन मिलता था.
खूफिया रिपोर्ट के मुताबिक, कई हुर्रियत नेताओं ने पाकिस्तान समेत कई देशों में जम्मू कश्मीर में जिहाद के नाम पर बड़ी मात्रा में चंदा उगाही भी की थी. इतना ही नहीं जकात के नाम पर भी भारी संख्या में धन भारत में धर्म की आड़ में आता था जो पैसा हथियार खरीदने पर खर्च किया जाता था.
रिपोर्ट के अनुसार, ये लोग इंटरनेट पर भड़काने वाले संदेश हजारों लोगों को पहुंचाते थे जिसके बाद जगह-जगह पर हिंसा शुरू हो जाती थी. इसके साथ ही काफी जगहों पर दीवारों पर लिखकर लोगों के मन में खौफ पैदा किया जाता था.
इसी वजह से धारा 370 हटाने के बाद नरेंद्र मोदी सरकार ने इंटरनेट पर पाबंदी लगाई. वहीं सरकार के मोबाइल फोन पर पाबंदी लगाने के पीछे की वजह सुरक्षा बलों के काफिले पर आतंकी हमले की मोडस ऑपरेंडी थी, जिसमे मोबाइल फोन का इस्तेमाल हुआ था.
वर्तमान में नरेंद्र मोदी सरकार घाटी के सभी हुर्रियत नेताओं को लेकर सख्त रूख अपनाए हुए है. कश्मीर के अधिकतर नेताओं की सरकारी सुरक्षा भी वापस ले ली गई है. धारा 370 हटाने के फैसले के मद्देनजर केंद्र सरकार ने काफी संख्या में हुर्रियत नेताओं को जेल भेज दिया था जिनमें ज्यादातर को अभी नहीं छोड़ा गया है. हुर्रियत के मीरवाइज उमर फारूख, सैयद अली शाह गिलानी समेत सभी बड़े चेहरों पर सरकार का कड़ा पहरा है.
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