नई दिल्ली: भारत की प्राचीन धरोहरों और मंदिरों में कुछ ऐसे रहस्य छिपे होते हैं, जो दुनिया भर के वैज्ञानिकों और श्रद्धालुओं को अचंभित कर देते हैं। ऐसा ही एक अद्भुत और रहस्यमयी मंदिर है, जहां पत्थरों से संगीत के स्वर निकलते हैं। यह मंदिर न केवल धार्मिक दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण है, बल्कि इसके वास्तुशिल्प और संगीत से जुड़ी विशेषता इसे और भी अनूठा बनाती है। आइए जानते हैं ऐसे ही एक अद्भुत मंदिर के बारे में जहां पत्थरों पर हाथ लगाते ही मधुर संगीत उत्पन्न होता है।
हम्पी, जो कि कर्नाटक राज्य में स्थित है, को एक समय विजयनगर साम्राज्य की राजधानी के रूप में जाना जाता था। हम्पी का विट्ठल मंदिर अपने संगीत स्तंभों के लिए विश्व प्रसिद्ध है। इस मंदिर का निर्माण 15वीं शताब्दी के अंत में किया गया था और इसका निर्माण विजयनगर साम्राज्य के महाराजा कृष्णदेवराय ने करवाया था। यह मंदिर भगवान विट्ठल (भगवान विष्णु का एक रूप) को समर्पित है।
विट्ठल मंदिर में कई बड़े स्तंभ बने हुए हैं, जिनमें से 56 स्तंभ ऐसे हैं, जिन्हें “सप्त स्वर स्तंभ” के नाम से जाना जाता है। इन स्तंभों की सबसे अद्भुत बात यह है कि जब इन्हें हल्के से थपथपाया जाता है, तो इनसे विभिन्न संगीत स्वर उत्पन्न होते हैं। इन स्तंभों को बजाने पर ऐसा प्रतीत होता है मानो कोई वीणा, तबला, या मृदंग बज रहा हो। यह समझना भी दिलचस्प है कि हर स्तंभ से निकलने वाला संगीत अलग-अलग होता है। यही कारण है कि इन स्तंभों को “संगीत स्तंभ” या “संगीत मण्डप” के रूप में जाना जाता है। जब कोई इन पर स्पर्श करता है, तो उससे निकलने वाली ध्वनि के पीछे वैज्ञानिक और वास्तुशिल्पीय कारण हैं, लेकिन आज तक कोई भी इसे पूरी तरह से समझ नहीं पाया है।
स्थानीय लोगों का मानना है कि इन स्तंभों के माध्यम से भगवान विट्ठल की उपस्थिति का एहसास होता है। यह मंदिर न केवल स्थानीय श्रद्धालुओं के लिए, बल्कि दुनियाभर के पर्यटकों के लिए भी एक बड़ा आकर्षण है। हर साल यहां हजारों लोग आते हैं और इन संगीत स्तंभों की अद्भुत ध्वनि का अनुभव करते हैं।
वैज्ञानिकों और विशेषज्ञों ने इन स्तंभों की जांच की है, और यह पाया गया है कि ये स्तंभ पत्थर से बने होने के बावजूद ध्वनि उत्पन्न करते हैं। इसका मुख्य कारण यह है कि इन स्तंभों का निर्माण बहुत ही विशेष प्रकार के पत्थरों से किया गया है, जिन्हें “गोंग स्टोन” के रूप में जाना जाता है। इन पत्थरों की खासियत यह होती है कि जब इन्हें हल्के से मारा जाता है, तो वे विभिन्न ध्वनियों का निकालते हैं।
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