उज्जैन के विश्व प्रसिद्ध श्री महाकालेश्वर मंदिर में अब भस्म आरती के दौरान श्रद्धालु मोबाइल लेकर प्रवेश नहीं कर सकेंगे। मंदिर प्रशासन ने स्पष्ट किया है कि सुबह 4 बजे होने वाली भस्म आरती में शामिल होने वाले श्रद्धालुओं को पहले अपनी अनुमति दिखानी होगी। मंदिर परिसर और महाकाल लोक में रील बनाकर सोशल मीडिया पर पोस्ट करने की घटनाएं बढ़ती जा रही थीं।
नई दिल्ली: उज्जैन के विश्व प्रसिद्ध श्री महाकालेश्वर मंदिर में अब भस्म आरती के दौरान श्रद्धालु मोबाइल लेकर प्रवेश नहीं कर सकेंगे। मंदिर प्रशासन ने यह निर्णय मंदिर परिसर में लगातार मोबाइल का दुरुपयोग और वीडियो-रील बनाए जाने की घटनाओं के चलते लिया है। बता दें यह पाबंदी 23 जनवरी 2025 से लागू हो गई है।
मंदिर प्रशासन ने स्पष्ट किया है कि सुबह 4 बजे होने वाली भस्म आरती में शामिल होने वाले श्रद्धालुओं को पहले अपनी अनुमति दिखानी होगी। इसके बाद मंदिर के सुरक्षा गार्ड्स और मंदिर समिति को मोबाइल जमा करवाकर ही बाबा महाकाल की भस्म आरती में भाग लेने की अनुमति दी जाएगी।
इसके साथ ही श्री महाकालेश्वर मंदिर प्रबंधन समिति के प्रशासक अनुकूल जैन ने बताया कि श्रद्धालुओं से बार-बार अपील की गई थी कि वे मंदिर परिसर में वीडियो और रील न बनाएं। इसके बावजूद श्रद्धालु इस निर्देश का पालन नहीं कर रहे थे। खासतौर पर मंदिर परिसर और महाकाल लोक में रील बनाकर सोशल मीडिया पर पोस्ट करने की घटनाएं बढ़ती जा रही थीं। इन घटनाओं को रोकने के लिए यह सख्त निर्णय लिया गया है।
श्रद्धालु अब भस्म आरती की अनुमति मोबाइल पर दिखाने के बाद प्रवेश करेंगे, लेकिन मोबाइल जमा करने की व्यवस्था के कारण उन्हें थोड़ी परेशानी का सामना करना पड़ सकता है। अधिकांश श्रद्धालु अन्य राज्यों और शहरों से आते हैं और आरती की अनुमति मोबाइल पर ही दिखाते हैं। ऐसे में नई व्यवस्था उनके लिए थोड़ी असुविधाजनक हो सकती है। प्रशासन ने बताया कि कुछ पुजारियों द्वारा गर्भगृह में बाबा महाकाल की भस्म आरती और श्रृंगार की रील सोशल मीडिया पर पोस्ट की जाती हैं। फिलहाल श्रद्धालुओं पर मोबाइल प्रतिबंध लागू कर दिया गया है, अब देखना ये होगा कि इस पर श्रद्धालुओं की क्या प्रतिक्रिया सामने आती है.
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