नई दिल्ली: दिल्ली में पिछले तीन विधानसभा चुनावों में जीत हासिल करने वाली आम आदमी पार्टी (AAP) को इस बार करारी हार का सामना करना पड़ा है। इसके साथ ही भारतीय जनता पार्टी (BJP) का 27 साल बाद दिल्ली में विजय प्राप्त करना भी चर्चा का विषय बना है। हर किसी के मन में यह सवाल है कि जो पार्टी तीन बार लगातार जीत चुकी थी, वह इस बार कैसे हार गई। अब इसका जवाब सामने आया है।
आम आदमी पार्टी के सह-संस्थापक और प्रसिद्ध वकील, प्रशांत भूषण ने पार्टी की हार के कारणों पर प्रकाश डाला है। उन्होंने अरविंद केजरीवाल को इस हार का जिम्मेदार ठहराया है। भूषण ने केजरीवाल पर आरोप लगाते हुए कहा कि उन्होंने पार्टी को उसकी मूल विचारधारा से भटका दिया और उसे भ्रष्ट बना दिया। विशेष रूप से, उन्होंने 2015 में पार्टी से निष्कासित होने के बाद कहा कि केजरीवाल ने AAP को पारदर्शी, जवाबदेह और लोकतांत्रिक पार्टी से एक तानाशाही, अपारदर्शी और भ्रष्ट संगठन में बदल दिया।
भूषण ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर इस विषय पर पोस्ट करते हुए लिखा कि आम आदमी पार्टी का उद्देश्य एक ईमानदार और पारदर्शी राजनीतिक पार्टी बनाना था, लेकिन केजरीवाल की कार्यप्रणाली ने इसे पूरी तरह से बदल दिया। उन्होंने इसे पार्टी के “अंत की शुरुआत” बताया और कहा कि इस बदलाव के कारण पार्टी की छवि पर बुरा असर पड़ा।
इसके अलावा, प्रशांत भूषण ने शीशमहल विवाद को भी उठाया, जो इस चुनाव में एक प्रमुख मुद्दा बना था। इस विवाद में आरोप था कि केजरीवाल ने मुख्यमंत्री आवास के नवीकरण पर 45 करोड़ रुपये खर्च किए थे। भूषण ने इस पर कड़ी आलोचना करते हुए कहा कि केजरीवाल ने अपनी भव्यता बढ़ाने के लिए इतना खर्च किया और महंगी गाड़ियों में घूमने लगे। इसके साथ ही उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि केजरीवाल ने पार्टी के नीति दस्तावेजों को नजरअंदाज किया और उन्हें कचरे में फेंक दिया।
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